Euro 2025 Final: क्या इस बार इंग्लैंड तोड़ेगा बदकिस्मती का सिलसिला, या फिर स्पेन लिखेगा नया इतिहास?

2023 वर्ल्ड कप में मिली हार इंग्लैंड के लिए आज भी एक तकलीफ भरी याद है। अब यूरो 2025 के फाइनल में उसे इस हार को भुलाने और खुद को साबित करने का बड़ा मौका मिला है। फाइनल मुकाबले में आज इंग्लैंड और स्पेन आमने-सामने होंगे। स्पेन के लिए भी यह मुकाबला सिर्फ जीत का नहीं, बल्कि सम्मान पाने और एक नई शुरुआत का मौका है।

Post Published By: Mrinal Pathak
Updated : 27 July 2025, 9:32 AM IST
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New Delhi: 2023 फीफा महिला विश्व कप का फाइनल इंग्लैंड के लिए अब भी एक ऐसा दर्द है, जिसे भुला पाना आसान नहीं है। लूसी ब्रॉन्ज की एक गलती, लॉरेन हेम्प का गोल पोस्ट से टकराया शॉट और कई चूके हुए मौके, इन सबने उस हार को और भी दुखद बना दिया। अब कोच सारिना वाइगमैन और उनकी टीम के पास यूरो 2025 के फाइनल में खुद को साबित करने का एक बड़ा मौका है।

दिलचस्प बात यह है कि इस फाइनल मुकाबले में इंग्लैंड की विरोधी टीम स्पेन भी सिर्फ जीत के लिए नहीं, बल्कि एक नई शुरुआत और सम्मान के लिए मैदान में उतरने वाली है।

स्पेन की जीत की कड़वी सच्चाई

हालांकि, स्पेन ने 2023 में विश्व कप जीता था, लेकिन यह जीत उनके लिए पूरी तरह से खुशी नहीं लाई। फुटबॉल संघ RFEF में चल रही अंदरूनी राजनीति, कोच जॉर्ज विल्डा के साथ खिलाड़ियों का विवाद और सबसे बड़ा विवाद लुइस रूबियालेस द्वारा खिलाड़ी जेनिफर हेरमोसो को जबरन चूमना, इन सबने उस जीत की चमक को फीका कर दिया।

सालों से झेल रही टीम

इस घटना के बाद दुनिया भर में स्पेन की महिला टीम के संघर्ष की चर्चा हुई। हेरमोसो ने सोशल मीडिया पर खुलकर बताया कि ऐसा व्यवहार उनकी टीम के लिए नया नहीं था, बल्कि वो इसे सालों से झेलती आ रही हैं। रूबियालेस के इस्तीफे और जुर्माने के बावजूद यह सवाल बना रहा कि क्या वाकई कोई बदलाव आया?

नई कोच और नया इरादा

अब जब रूबियालेस और कोच विल्डा दोनों ही जा चुके हैं, तो स्पेन की टीम इस फाइनल को सिर्फ ट्रॉफी जीतने के मौके के तौर पर नहीं देख रही, बल्कि यह उनके लिए सम्मान, समानता और अपनी आवाज बुलंद करने की लड़ाई का भी हिस्सा है। कोच मॉन्टसे टोमे की लीडरशिप में स्पेन की टीम हर मुकाबले में तकनीकी रूप से मजबूत और रणनीतिक तौर पर तैयार नजर आई है।

इंग्लैंड भी भूला नहीं पिछली हार

इंग्लैंड के लिए भी यह फाइनल बेहद अहम है। पिछले साल की हार का बदला लेने और खोया हुआ आत्मविश्वास पाने का इससे बेहतर मौका शायद ही मिले। लॉरेन हेम्प और एलिसिया रूसो जैसी खिलाड़ी इस बार हर मौके को भुनाना चाहेंगी।

यह फाइनल सिर्फ एक ट्रॉफी का मुकाबला नहीं है, बल्कि दोनों टीमों के लिए खुद को नए सिरे से परिभाषित करने और फुटबॉल इतिहास में अपनी जगह मजबूत करने का मौका है।

 

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