UP Health Department: निजी अस्पतालों में फर्जीवाड़े पर लगेगी लगाम, नया पोर्टल करेगा डॉक्टर्स की निगरानी का काम

यूपी स्वास्थ्य विभाग ने बड़ा कदम उठाते हुए नया डिजिटल पोर्टल लॉन्च किया है। जिसके मदद से डॉक्टरों की निगरानी की जा सकेगी। ये पोर्टल कैसे काम करेगा जानने के लिए पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ पर पूरी रिपोर्ट

Post Published By: Jaya Pandey
Updated : 17 May 2025, 11:39 AM IST
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उत्तर प्रदेश: स्वास्थ्य क्षेत्र में पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए एक बड़ा कदम उठाते हुए स्वास्थ्य विभाग ने एक नया डिजिटल पोर्टल लॉन्च किया है। इस पोर्टल की मदद से अब निजी अस्पतालों में तैनात डॉक्टरों की निगरानी की जा सकेगी। खास बात यह है कि इस पोर्टल पर देशभर के डॉक्टरों के MCI (मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया) रजिस्ट्रेशन नंबर को लिंक कर दिया गया है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि निजी अस्पतालों में जो चिकित्सक कार्यरत बताए जा रहे हैं, वे वास्तव में वहां स्थायी स्टाफ के रूप में कार्य कर रहे हैं या नहीं। लंबे समय से यह शिकायतें मिल रही थीं कि कई निजी अस्पताल कागजों में अनुभवी और विशेषज्ञ डॉक्टरों को परमानेंट स्टाफ के रूप में दिखाते हैं, जबकि वास्तव में वे वहां काम ही नहीं करते।

इलाज की गुणवत्ता पर गंभीर सवाल

कुछ अस्पताल तो जरूरत के अनुसार केवल जांच के समय डॉक्टरों को बुलाते हैं, जिससे मरीजों की सुरक्षा और इलाज की गुणवत्ता पर गंभीर सवाल खड़े होते हैं। इस फर्जीवाड़े को रोकने के लिए ही स्वास्थ्य विभाग ने इस पोर्टल को तैयार किया है।

डॉक्टरों के रजिस्ट्रेशन की वैधता होगी चेक

अब निजी अस्पतालों को अपने यहां कार्यरत सभी डॉक्टरों का पूरा ब्योरा — नाम, योग्यता, विशेषज्ञता, और MCI रजिस्ट्रेशन नंबर — पोर्टल पर अनिवार्य रूप से अपलोड करना होगा। पोर्टल खुद ही डॉक्टर के रजिस्ट्रेशन को MCI डेटाबेस से क्रॉस-चेक करेगा, जिससे यह पता चल सकेगा कि डॉक्टर का रजिस्ट्रेशन वैध है या नहीं और वह किस स्थान पर कार्यरत है।

योग्य डॉक्टरों से होगा इलाज

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार, इस पहल से फर्जी डॉक्टरों और अवैध रूप से प्रैक्टिस कर रहे लोगों की पहचान आसानी से की जा सकेगी। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जा सकेगा कि अस्पतालों में मरीजों को योग्य डॉक्टरों द्वारा इलाज मिल रहा है।

पारदर्शिता और विश्वास दोनों को मिलेगा बल

इस पोर्टल के जरिए आम नागरिक भी किसी डॉक्टर की प्रमाणिकता की जांच कर सकेंगे। इसके लिए उन्हें केवल डॉक्टर का नाम या रजिस्ट्रेशन नंबर दर्ज करना होगा। इससे पारदर्शिता और विश्वास दोनों को बल मिलेगा।

डिजिटल पहल सिस्टम में लाएगी सुधार

स्वास्थ्य विभाग की यह डिजिटल पहल न केवल सिस्टम में सुधार लाएगी, बल्कि मरीजों की सुरक्षा और विश्वास को भी नई मजबूती देगी। उम्मीद की जा रही है कि अन्य राज्य भी जल्द ही इस मॉडल को अपनाएंगे।

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