Bihar Caste Census: बिहार में जारी रहेगी जातीय जनगणना, सुप्रीम कोर्ट ने सभी याचिकाएं की खारिज, जानिये क्या कहा

देश की सर्वोच्च अदालत से बिहार सरकार को बड़ी राहत मिली है। बिहार में जातीय जनगणना के खिलाफ दायर सभी याचिकाओं को सुप्रीम कोर्ट में खारिज कर दिया है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 20 January 2023, 5:49 PM IST
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नई दिल्ली: बिहार की नीतीश सरकार को शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। देश की सर्वोच्च अदालत ने बिहार सरकार द्वारा पूरे राज्य में जाति आधारित जनगणना कराने के फैसले के खिलाफ दायर सभी याचिकाओं पर विचार करने से इनकार कर दिया है। इसके साथ ही शीर्ष न्यायालय सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से साफ है कि बिहार सरकार का राज्य में जाति आधारित जनगणना का कार्य जारी रहेगा। बता दें कि बिहार देश का ऐसा पहला राज्य है, जहां जाति आधारित जनगणना का काम किया जा रहा है। 

जाति आधारित जनगणना के खिलाफ दायर याचिकाओं को खारिज करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ता इस मामले में संबंधित उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटा सकते है। इसके लिये याचिकाकर्ताओं कानून के अनुसार, उचित उपाय खोजने की स्वतंत्रता है। 

सुनवाई के दौरान जस्टिस बीआर गवई और न्यायमूर्ति विक्रम नाथ की पीठ ने कहा कि याचिकाओं में कोई दम नहीं है, लिहाजा इन्हें खारिज किया जाता है। पीठ ने याचिकाकर्ताओं के वकील से कहा कि तो यह लोकप्रियता हासिल करने के इरादे से दाखिल याचिका है। 

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हम कैसे यह निर्देश जारी कर सकते हैं कि किस जाति को कितना आरक्षण दिया जाना चाहिए। माफ कीजिए, हम ऐसे निर्देश जारी नहीं कर सकते और इन याचिकाओं पर सुनवाई नहीं कर सकते। पीठ ने छूट दी कि याचिकाकर्ता संबंधित उच्च न्यायालय का रुख कर सकते हैं।