

मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले कुछ दिनों में और बारिश हो सकती है, जिससे हालात और बिगड़ सकते हैं। प्रशासन ने हाई अलर्ट जारी कर दिया है और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने की कोशिश की जा रही है। देश में बाढ़, बारिश और फ्लैश फ्लड का कहर जारी है। जम्मू-कश्मीर, हिमाचल, पंजाब समेत 10 से ज्यादा राज्य प्रभावित है। साथ में 115 साल का रिकॉर्ड टूटा। कई जिलों में तबाही और रेस्क्यू ऑपरेशन जारी।
बारिश का कहर
New Delhi: देश के पहाड़ों से लेकर मैदानी इलाकों तक इन दिनों बारिश और बाढ़ का कहर देखने को मिल रहा है। बादल फटने की घटनाओं और फ्लैश फ्लड ने जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है। जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड से लेकर पंजाब, उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश, राजस्थान, ओडिशा और असम तक प्राकृतिक आपदा ने करोड़ों लोगों को प्रभावित किया है। दिल्ली और हरियाणा में भी यमुना नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है, जिससे हालात और बिगड़ने की आशंका है।
पहाड़ों पर छुट्टियों का सपना, अब डरावना मंज़र
जहां लोग सर्दियों और गर्मियों में पहाड़ों पर छुट्टियां मनाने जाते हैं, वहीं मानसून आते ही वही पहाड़ खौफ और तबाही की तस्वीर बन जाते हैं। इस बार जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। पहाड़ों पर भारी बारिश के चलते नदियों का जलस्तर तेजी से बढ़ा और उनका तेज बहाव कई जिंदगियों को अपने साथ बहा ले गया।
115 साल का रिकॉर्ड टूटा, जम्मू में तबाही
जम्मू-कश्मीर में पिछले 24 घंटे में 380 मिमी बारिश दर्ज की गई है, जो 115 साल में सबसे ज्यादा है। इससे पहले 1910 में 270 मिमी बारिश दर्ज हुई थी। डोडा, किश्तवाड़ और कठुआ जिलों में भयंकर बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं हुई। वैष्णो देवी मार्ग पर हुए भूस्खलन ने 34 श्रद्धालुओं की जान ले ली। डोडा और किश्तवाड़ में हजारों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है।
हिमाचल में नदियों का कहर
हिमाचल प्रदेश में फ्लैश फ्लड ने हालात बेकाबू कर दिए हैं। कुल्लू और मनाली में नदियों पर बने कई पुल बह गए, मकान, दुकान और होटल नदी के बहाव में समा गए हैं। हाईवे बंद हैं, और लोग जगह-जगह फंसे हुए हैं। मौसम विभाग ने और बारिश की चेतावनी दी है जिससे लोगों में डर बना हुआ है।
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पंजाब में 5 नदियों का उफान
पंजाब में रावी, व्यास, सतलुज, चेनाब और झेलम नदियों का जलस्तर तेजी से बढ़ा है। बांधों में पानी अधिक भरने के कारण डिस्चार्ज शुरू किया गया, जिससे कई जिलों में बाढ़ आ गई। गुरदासपुर, पठानकोट, होशियारपुर और तरनतारन में बाढ़ ने तबाही मचाई है। गुरदासपुर के नवोदय विद्यालय में 400 छात्र और शिक्षक फंसे, जिन्हें रेस्क्यू ऑपरेशन चलाकर सुरक्षित निकाला गया।
सेना और NDRF का बड़ा रेस्क्यू ऑपरेशन
पठानकोट में सेना ने एक जर्जर बिल्डिंग से 22 सीआरपीएफ जवानों और 3 नागरिकों को हेलिकॉप्टर से रेस्क्यू किया। बिल्डिंग कुछ ही देर बाद गिर गई, जिससे बड़ी जानहानी टल गई। कई जगह नावों और हेलिकॉप्टरों से बचाव कार्य जारी है। NDRF और सुरक्षाबल हालात पर नजर बनाए हुए हैं।
आगे और खतरे की आशंका
मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले कुछ दिनों में और बारिश हो सकती है, जिससे हालात और बिगड़ सकते हैं। प्रशासन ने हाई अलर्ट जारी कर दिया है और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने की कोशिश की जा रही है।