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रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन आज दिल्ली पहुंचेंगे और पीएम मोदी से मुलाक़ात करेंगे। इसी बीच संसद के शीतकालीन सत्र में राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि सरकार विपक्ष के नेता और पुतिन के बीच मुलाक़ात नहीं होने देना चाहती। सत्र के चौथे दिन विपक्ष ने वायु प्रदूषण जैसे गंभीर मुद्दे पर भी सरकार को घेरा।
संसद में मीडिया से बातचीत करते हुए राहुल गांधी
New Delhi: रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन आज अपने विशेष विमान से नई दिल्ली पहुंचने वाले हैं। वह अपने अब तक के सबसे बड़े कैबिनेट प्रतिनिधिमंडल के साथ भारत आ रहे हैं। दिल्ली पहुंचते ही उनकी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ प्रधानमंत्री आवास पर महत्वपूर्ण बैठक होगी। पुतिन की इस उच्चस्तरीय यात्रा ने राजनीतिक हलचल को और तेज कर दिया है। इसी बीच संसद के शीतकालीन सत्र में राष्ट्रपति पुतिन के भारत दौरे का मुद्दा प्रमुख रूप से उठा।
सत्र के चौथे दिन कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि सरकार नहीं चाहती कि नेता प्रतिपक्ष और रूस के राष्ट्रपति के बीच कोई मुलाक़ात हो। उन्होंने इसे लोकतांत्रिक प्रक्रिया के लिए चिंताजनक बताया।
राहुल गांधी ने कहा, "जनरली सरकार की पॉलिसी है, ये नॉर्मली ट्रेडिशन होता है कि एलओपी के साथ जो भी बाहर से आते हैं उनकी मीटिंग होती है। यह वाजपेयी और मनमोहन सिंह के समय होता था। यह ट्रेडिशन रहा है। लेकिन आजकल जो फॉरेन डिग्नेट्री आते हैं या जब मैं कहीं बाहर जाता हूं तो सरकार उनको यह सुझाव देती है कि एलओपी से नहीं मिलना चाहिए। तो यह इनकी पॉलिसी है कि यह हर बार ऐसा करते हैं जब मैं बाहर जाता हूं। हमें मैसेज मिलता है कि हमें बताया गया है कि सरकार हमें कहती है कि आपसे नहीं मिलना है।
Parliament Winter Session: शीतकालीन सत्र में विपक्ष का जोरदार विरोध, वायु प्रदूषण पर संसद में हंगामा
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— डाइनामाइट न्यूज़ हिंदी (@DNHindi) December 4, 2025
सत्र, जो 1 दिसंबर से चल रहा है, शुरुआती दिनों में हंगामे के कारण बाधित रहा। हालांकि तीसरे दिन सदन सुचारू रूप से चला, लेकिन चौथे दिन विपक्ष ने एकजुट होकर वायु प्रदूषण के गंभीर मुद्दे को उठाया। कांग्रेस, द्रमुक, राजद, सपा, झामुमो, माकपा, भाकपा, एनसीपी और शिवसेना (उबाठा) के सांसदों ने मिलकर सरकार पर दबाव बनाया। हालांकि टीएमसी ने इस संयुक्त रणनीति में भाग नहीं लिया।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की यात्रा और संसद में जारी गर्मा-गर्मी ने राजनीतिक माहौल को पूरी तरह से सरगर्म कर दिया है।