

भागदौड़ भरी ज़िंदगी में खुद का ख्याल रखना कई बार हमारी प्राथमिकता नहीं रह जाता, लेकिन सेल्फ-केयर न केवल हमें स्वस्थ रखता है, बल्कि मानसिक रूप से मजबूत भी बनाता है। जानिए कैसे एक साधारण सेल्फ-केयर रूटीन आपकी ज़िंदगी में बड़ा फर्क ला सकता है।
प्रतीकात्मक फोटो (सोर्स-गूगल)
New Delhi: आज की तेज़ रफ्तार ज़िंदगी में हम कई ज़िम्मेदारियों और तनावों से घिरे रहते हैं। काम का दबाव, परिवार की देखभाल, सामाजिक अपेक्षाएं इन सबके बीच सबसे ज्यादा अनदेखा हम खुद को कर देते हैं। यही कारण है कि "सेल्फ-केयर" यानी स्वयं की देखभाल अब एक लग्ज़री नहीं, बल्कि जीवन की अनिवार्यता बन चुकी है।
सेल्फ-केयर क्या है?
सेल्फ-केयर का मतलब है अपने शरीर, मन और आत्मा का ध्यान रखना। यह कोई एक दिन की प्रक्रिया नहीं, बल्कि एक निरंतर चलने वाला अभ्यास है जिसमें आप खुद को प्राथमिकता देते हैं। इसमें शामिल है अच्छा खाना, पर्याप्त नींद, नियमित व्यायाम, भावनात्मक संतुलन और मानसिक विश्राम।
मानसिक सेहत के लिए जरूरी क्यों?
WHO की रिपोर्ट के अनुसार, दुनियाभर में हर आठवां व्यक्ति मानसिक तनाव या अवसाद से जूझ रहा है। ऐसे में सेल्फ-केयर रूटीन से मानसिक स्वास्थ्य को स्थिर बनाए रखा जा सकता है। ध्यान, मेडिटेशन, जर्नलिंग और समय पर ब्रेक लेना आपकी सोच और भावना को संतुलित करने में मदद करता है।
शारीरिक सेहत के लिए भी अहम
व्यायाम और संतुलित आहार से न केवल हमारा शरीर मजबूत रहता है, बल्कि इससे इम्यून सिस्टम भी बेहतर होता है। रोज़ाना 30 मिनट की वॉक, योग या हल्की स्ट्रेचिंग शरीर को सक्रिय बनाए रखती है। वहीं हेल्दी डाइट आपको लंबे समय तक बीमारियों से दूर रखती है।
एक प्रभावी सेल्फ-केयर रूटीन कैसा हो?
सुबह की शुरुआत ध्यान या योग से करना एक बहुत ही लाभकारी आदत है, जो मानसिक शांति और ऊर्जा दोनों प्रदान करती है। हर दिन 15 से 30 मिनट खुद के लिए निकालना चाहिए, चाहे वह पढ़ाई हो, लेखन हो या बस शांति से बैठकर खुद से जुड़ने का समय हो। इसके अलावा सोशल मीडिया और स्क्रीन टाइम को सीमित रखना जरूरी है ताकि मानसिक थकान और तनाव से बचा जा सके। रात को जल्दी सोना और कम से कम 7 से 8 घंटे की अच्छी नींद लेना शरीर और दिमाग दोनों के लिए फायदेमंद होता है। साथ ही भरपूर पानी पीना चाहिए और जंक फूड से बचाव करना चाहिए ताकि शरीर स्वस्थ और तंदरुस्त रहे। हर हफ्ते अपने शौक जैसे संगीत सुनना, पेंटिंग करना या बागवानी के लिए भी समय निकालना चाहिए, जिससे तनाव कम होता है और खुशी मिलती है।