

उत्तराखंड में मानसून पूरी तरह से सक्रिय हो गया है। जिससे प्रदेश में मूसलाधार बारिश हो रही है। अलग-अलग जगह हो रही मूसलाधार बारिश ने तबाही मचा दी है।
उत्तराखंड में बारिश ने मचाई तबाही
देहरादून: उत्तराखंड में मूसलाधार बारिश ने तबाही मचा रखी है। बारिश से कहीं पहाड़ दरक रहे हैं तो कहीं भूस्खलन हो रहा हैं, हाइवे जलमग्न हो गए हैं जिससे जनजीवन अस्तव्यस्त हो गया है।
जानकारी के अनुसार बारिश के बाद जगह-जगह मार्गों पर मलबा आ गया है। इससे 72 मार्ग से ज्यादा मार्ग बंद हो गए हैं। सबसे अधिक 21 मार्ग चमोली जिले के हैं।
बारिश से पहाड़ों में मचा हाहाकार
उत्तरकाशी के यमुनोत्री हाईवे पर सिलाई बैंड के पास बादल फटने से तबाही मच गई। इस दौरान यहां होटल निर्माण स्थल तबाह हो गया है, जिससे कई मजदूर लापता हो गए। इस दौरान दो मजदूरों के शव भी बरामद हुए है। लापता मजदूरों की तलाश में प्रशासन की टीम और एसडीआरएफ ने रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया है।
वहीं राजधानी देहरादून में देर रात से कारगी क्षेत्र की मदीना मस्जिद कॉलोनी में दो मंजिला घर भरभराकर ढह गया। गनीमत रही कि मकान के ढहने की आशंका पर पहले ही परिवार वालों को घर से निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया था। वरना बड़ा हादसा हो सकता था।
मौसम विज्ञान ने अगले तीन दिन तक प्रदेश के सात जिलों में भारी से भारी बारिश की चेतावनी जारी की है। जबकि अन्य कई जिलों में भी तेज दौर की बारिश के आसार हैं।
मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह ने बताया कि 29 जून से लेकर एक जुलाई तक दून समेत टिहरी, पौड़ी, चम्पावत, हरिद्वार, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर जिले के कुछ इलाकों में भारी से भारी बारिश का रेड अलर्ट जारी किया गया है।
जबकि रुद्रप्रयाग, चमोली, उत्तरकाशी, पिथौरागढ़ और बागेश्वर जिले के भी कुछ हिस्सों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है।
मौसम विभाग ने लोगों को चेतावनी दी कि इन तीन दिनों में जलभराव, भूस्खलन होने के साथ नदी-नालों का जलस्तर बढ़ सकता है। ऐसे में दिन के साथ रात के समय भी अधिक सतर्क रहें और नदी-नालों के आसपास जाने से परहेज करें। इसके अलावा आवश्यक न हो तो पर्वतीय इलाकों में यात्रा करने से बचें।
प्रशासन ने लोगों से अपील की कि बारिश से जलभराव, भूस्खलन होने के साथ नदी-नाले उफान पर हैं ऐसे में दिन के साथ रात के समय भी अधिक सतर्क रहें और नदी-नालों के आसपास जाने से परहेज करें।