

महराजगंज में इस समय अंधेरगर्दी मची हुई है। नगर का सीना चीर हाइवे निकाला जा रहा है। नेशनल हाइवे के इंजीनियर मौके से नदारद हैं। ठेकेदार की मनमानी चरम पर है। व्यापारियों का आरोप है कि कटर मशीन की बजाय पोकलैंड का इस्तेमाल कर मकानों औऱ दुकानों को तोड़ा जा रहा है। डाइनामाइट न्यूज़ एक्सक्लूसिव..
महराजगंज: उद्योग व्यापार मंडल के प्रदेश पदाधिकारी कन्हैया लाल अग्रवाल ने कहा है कि हाइवे निर्माण के लिए ठेकेदार को मकान-दुकान तोड़ते वक्त कटर मशीन का इस्तेमाल करना चाहिये लेकिन ऐसा न करके पोकलैंड के जरिये तोड़-फोड़ कर दहशत पैदा की जा रही है। इसे तत्काल नहीं रोका गया तो जिन गरीबों के मकान का कुछ हिस्सा 16-16 मीटर तोड़े जाने के बाद बचेगा, वह भी पूरी तरह डैमेज हो जायेगा और आने वाले दिनों में मकान अचानक गिर सकता है।
यदि ऐसा हुआ तो इन मौतों का जिम्मेदार कौन होगा? किसकी जवाबदेही होगी?
बिना लिखित नोटिस और बिना मुआवजे के मकानों व दुकानों को तोड़ अराजकता पैदा की जा रही है।
इनका कहना है कि जितना नेशनल हाइवे के लिए जरूरत है उतने मकान को कटर से काट कर निकाल लिया जाये लेकिन यहां ठेकेदार की मनमानी और बदले की भावना से काम करने की हाल यह है कि पोकलैंड से गिराने की वजह से पूरा मकान हिल जा रहा है जो कभी भी गिर सकता है।