हिमालय की गोद में बसा नेपाल: जहाँ पहाड़ सिर्फ भूगोल नहीं, जीवन की पहचान हैं

नेपाल का भूगोल उसे दुनिया के सबसे विशिष्ट देशों में शामिल करता है। हिमालयी पर्वत न केवल इसकी पहचान हैं, बल्कि आस्था, अर्थव्यवस्था और जल सुरक्षा का आधार भी हैं। यही कारण है कि नेपाल को “Land of the Himalayas” कहा जाता है।

Post Published By: Asmita Patel
Updated : 30 December 2025, 6:33 PM IST
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1 / 7 \"Zoom\"नेपाल का भूगोल उसे दुनिया के अन्य देशों से बिल्कुल अलग पहचान देता है। यह देश सीधे हिमालयी पर्वत-श्रृंखला के केंद्र में स्थित है, जहाँ उत्तर से दक्षिण तक ऊँचे, दुर्गम और बर्फ से ढके पहाड़ फैले हुए हैं। नेपाल की सीमाएं केवल राजनीतिक रेखाएं नहीं हैं, बल्कि विशाल पर्वत-श्रृंखलाओं द्वारा निर्धारित होती हैं। यही वजह है कि नेपाल को अक्सर “Land of the Himalayas” कहा जाता है।
2 / 7 \"Zoom\"नेपाल की सबसे बड़ी वैश्विक पहचान उसकी पर्वत चोटियाँ हैं। विश्व की 14 आठ-हज़ारी चोटियों में से 8 चोटियाँ नेपाल में या उसकी सीमा पर स्थित हैं। इनमें माउंट एवरेस्ट (सगरमाथा), ल्होत्से, मकालू, धौलागिरि, मनास्लु और अन्नपूर्णा जैसी विश्व प्रसिद्ध चोटियाँ शामिल हैं। माउंट एवरेस्ट की ऊँचाई 8,848 मीटर है, जो न केवल नेपाल बल्कि पूरी दुनिया की सबसे ऊँची चोटी है। यही कारण है कि नेपाल को “दुनिया की सबसे ऊँची छत” भी कहा जाता है।
3 / 7 \"Zoom\"नेपाल में पहाड़ केवल भौगोलिक संरचनाएं नहीं, बल्कि आस्था और विश्वास के केंद्र हैं। हिंदू और बौद्ध परंपराओं में पर्वतों को देवताओं का निवास स्थान माना गया है। कंचनजंघा जैसे पर्वत स्थानीय समुदायों के लिए पवित्र हैं और इन्हें “Five Treasures of Snow” जैसी आध्यात्मिक उपाधियाँ दी गई हैं। हिमालय की गोद में बसे मठ, स्तूप, मंदिर और पर्वतीय देवस्थल नेपाल की सांस्कृतिक आत्मा को दर्शाते हैं। लुम्बिनी से लेकर ऊँचे पहाड़ी मठों तक, नेपाल की धार्मिक पहचान पहाड़ों से गहराई से जुड़ी हुई है।
4 / 7 \"Zoom\"आज नेपाल दुनिया के सबसे बड़े ट्रेकिंग और पर्वतारोहण केंद्रों में से एक बन चुका है। एवरेस्ट बेस कैंप, अन्नपूर्णा बेस कैंप, लांगटांग, मनास्लु और अपर मुस्तांग जैसे ट्रेक रूट्स हर साल लाखों पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। बर्फीली चोटियाँ, गहरी घाटियाँ, स्वच्छ झीलें और बहते झरने नेपाल को एडवेंचर टूरिज्म का हब बनाते हैं। यहां पर्वतारोहण केवल खेल नहीं, बल्कि साहस, आत्म-अनुशासन और प्रकृति के साथ सामंजस्य का प्रतीक है।
5 / 7 \"Zoom\"हिमालय की गोद में बसा नेपाल
6 / 7 \"Zoom\"नेपाल के हिमालयी क्षेत्र से निकलने वाली नदियाँ जैसे गंगा, कोसी और गंडक भारत समेत पूरे दक्षिण एशिया की करोड़ों आबादी को पानी उपलब्ध कराती हैं। इस लिहाज से नेपाल के पहाड़ सिर्फ एक देश की संपत्ति नहीं, बल्कि पूरे क्षेत्र की जल सुरक्षा और जलवायु संतुलन से जुड़े हुए हैं।
7 / 7 \"Zoom\"क्षेत्रफल और आबादी में अपेक्षाकृत छोटा देश होने के बावजूद, नेपाल की लगभग 75 प्रतिशत भूमि पहाड़ी और हिमालयी है। यही कारण है कि कई भूगोलवेत्ता नेपाल को “दुनिया की पर्वतीय राजधानी” भी कहते हैं।

Location : 
  • New Delhi

Published : 
  • 30 December 2025, 6:33 PM IST

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