झारखंड के स्कूल में टीचर की पिटाई से छात्र की आंख फटी, रांची रेफर; परिजनों ने उठाई न्याय की मांग

झारखंड के पलामू में कक्षा पांच के छात्र की आंख टीचर की पिटाई से गंभीर रूप से घायल हो गई है। परिजनों ने दोषी शिक्षक पर सख्त कार्रवाई और बेहतर इलाज की मांग की है।

Post Published By: सौम्या सिंह
Updated : 20 July 2025, 4:47 PM IST
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Jharkhand: मेदिनीनगर के मां उग्रतारा एकेडमी में एक शिक्षक की कथित पिटाई से कक्षा पांचवीं में पढ़ने वाले 12 वर्षीय छात्र की एक आंख बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई। छात्र की पहचान अंश कुमार के रूप में हुई है, जो बारहलोटा हनुमान नगर का निवासी है। घटना शनिवार को उस वक्त घटी, जब क्लासरूम में शिक्षक विकास कुमार उर्फ विक्की बच्चों को अनुशासन के नाम पर छड़ी से पीट रहे थे।

परिजनों और प्रत्यक्षदर्शियों से मिली जानकारी के अनुसार, आरोपी शिक्षक किसी अन्य छात्र को छड़ी से मार रहे थे। इसी दौरान छड़ी अचानक टूट गई और उसका एक टुकड़ा पास में बैठे अंश की दाहिनी आंख में जा लगा। टुकड़ा इतनी तेज़ी से लगा कि आंख की काली पुतली (कॉर्निया) फट गई और छात्र की स्थिति गंभीर हो गई।

निजी क्लिनिक ले जाकर शिक्षक फरार

घटना के तुरंत बाद शिक्षक विक्की अंश को लेकर एक निजी क्लिनिक पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने स्थिति को गंभीर बताते हुए अंश को रांची RIMS या किसी बड़े आई हॉस्पिटल में रेफर करने की सलाह दी। परिजनों के अस्पताल पहुंचने के कुछ ही देर बाद आरोपी शिक्षक और स्कूल स्टाफ बिना कुछ बताए वहां से फरार हो गए।

Jharkhand School Incident

स्कूल प्रशासन के खिलाफ कार्रवाई की मांग

परिजनों का आरोप है कि न सिर्फ स्कूल प्रबंधन ने घटना की जानकारी छिपाई, बल्कि इलाज और मदद से जुड़ी कोई जिम्मेदारी भी नहीं ली। अंश की मां ने रोते हुए बताया, स्कूल में पढ़ाने भेजा था, आंख फोड़ कर लौटा दिया। अब बच्चा जिंदगी भर अधूरा रह जाएगा, इसकी जवाबदेही कौन लेगा?

स्कूल प्राचार्य ने दी सफाई

मामला तूल पकड़ते देख स्कूल के प्राचार्य बबन सिंह ने बयान जारी करते हुए कहा कि घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने बताया कि, टीचर विक्की किसी अन्य छात्र को अनुशासन सिखा रहे थे। छड़ी अचानक टूट गई और उसका नुकीला हिस्सा अंश की आंख में लग गया। यह जानबूझ कर नहीं हुआ। फिलहाल बच्चे को रांची रेफर किया गया है और हम हर संभव मदद करेंगे।

प्रशासन से परिजनों ने लगाई न्याय की गुहार

घटना के बाद से अंश के परिजन गहरे सदमे में हैं और उन्होंने जिला प्रशासन से आरोपी शिक्षक के खिलाफ कड़ी कार्रवाई और पीड़ित बच्चे के बेहतर इलाज की व्यवस्था करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि इस तरह की हिंसा अगर स्कूलों में होती रही, तो बच्चों की जान और भविष्य दोनों खतरे में पड़ जाएगा।

पुलिस जांच और शिक्षा विभाग की चुप्पी

मेदिनीनगर पुलिस को घटना की सूचना दे दी गई है। हालांकि, खबर लिखे जाने तक आरोपी शिक्षक की गिरफ्तारी नहीं हो सकी है। वहीं, जिला शिक्षा विभाग की ओर से भी अभी तक कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है।

बाल अधिकार विशेषज्ञों ने जताई चिंता

घटना के बाद बाल अधिकार कार्यकर्ताओं और डॉक्टरों ने गहरी चिंता जताई है। रांची के आई सर्जन डॉ. अजय प्रकाश ने कहा, इस तरह की चोटें अगर समय पर और सही तरीके से इलाज न हो पाएं, तो आंख की रोशनी स्थायी रूप से जा सकती है। बाल अधिकार आयोग से भी स्कूल में शारीरिक दंड पर तुरंत रोक लगाने और मामले की न्यायिक जांच की मांग की गई है।

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