

दिल्ली के करोलबाग इलाके में शनिवार को लोग बड़ी संख्या में सड़कों पर उतरे और जाम लगाया। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर जैसे-तैसे लोगों को शांत कराया। देखिये डाइनामाइट न्यूज़ की ग्राउंड रिपोर्ट
नई दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली में गर्मियां आते ही लोगों को अलग-अलग हिस्सों में पानी की किल्लत का सामना करना पड़ता है। दिल्ली की सरकार तो बदली लेकिन हालात बदलते दिखाई नहीं दे रहे हैं।
दिल्ली के व्यस्त बाजारों में से एक करोलबाग के टैंक रोड इलाके में शनिवार को लोग बड़ी संख्या में सड़कों पर उतरे और जाम लगा दिया।
डाइनामाइट न्यूज़ की टीम ने मौके पर पहुंचकर प्रदर्शन कर रहे लोगों से बातचीत की, स्थानीय लोगों का कहना है कि पिछले दो महीने से पानी की समस्या को लेकर बेहद परेशान है लेकिन प्रशासन सुनने को तैयार नहीं।
स्थानीय विधायक विशेष रवि पर आरोप लगाते हुए लोगों ने कहा भीषण गर्मी में बिना पानी के रात-दिन समस्याओं का सामना करना पड़ता हैं। लोगों ने आरोप लगाया कि जल बोर्ड समेत विधायक के यहां भी मामले की कोई सुनवाई नहीं हुई।
करोलबाग की व्यस्त सड़कों में एक टैंक रोड पर लोगों ने सड़क के बीचों-बीच बैठकर मटकाफोड़ प्रदर्शन किया तो दोनों की तरफ की सड़कों पर जाम लग गया। जिसके बाद प्रसाद नगर थाने से पुलिस के आला अधिकारी मौके पर पहुंचे और लोगों को शांत करवाकर जाम खुलवाया।
इस दौरान स्थानीय पुलिस से भी लोगों की मौके पर नोकझोंक देखने को मिली, लोगों ने पुलिस से कहा टैंक रोड पर खुलेआम जुआ खेला जा रहा और नशे का सामान बेचा रहा है, जिसके चलते आये दिन आपराधिक घटनाएं भी बढ़ती जा रही हैं।
वहीं प्रदर्शन कर रहे लोगों की समस्या के समाधान के लिए डाइनामाइट न्यूज़ ने स्थानीय विधायक विशेष रवि से फोन पर बात की। उनका कहना था कि टैंक रोड की कुछ गलियों में पानी की समस्या है, जिसके लिए उन्होंने हाल मे ही दिल्ली जल बोर्ड से फंड को पास कराया है और आज शाम से ही गलियों में पानी की लाइनों की ठीक करने का काम शुरु किया जाएगा।
विधायक ने कहा आस पास के लोगों को भी काम शुरु होने को लेकर सूचित किया गया था। उनका आरोप है कि यह प्रदर्शन बीजेपी के लोगों से प्रेरित हैं। दिल्ली सरकार और जल बोर्ड पर आरोप लगाते हुए रवि ने कहा दिल्ली की नई सरकार जल बोर्ड को फंड नहीं दे रही है, जिसके चलते विकास कार्यो में देरी हो रही हैं।
दिल्ली में गर्मियों में पानी की समस्या हर साल एक विकराल रूप लेती जा रही है। हर सरकार और नेता इस समस्या को हर बार सुलझाने का वादा करता है लेकिन सालों से यह समस्या जस की तस बनी हुई है। लोगों की समस्या के समाधान के बजाय इस पर भी राजनीति ज्यादा होती है।