

हरिद्वार के लक्सर में शनिवार को रिश्वतखोरी का बड़ा खुलासा हुआ है। विजिलेंस टीम ने कानूनगो को 20 हजार की घूस लेते गिरफ्तार किया। जिससे चकबंदी विभाग में हड़कंप मच गया।
हरिद्वार में कानूनगो रिश्वत लेते गिरफ्तार (IMG-Pixel)
Haridwar: जिले के लक्सर क्षेत्र में भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई करते हुए विजिलेंस टीम ने चकबंदी विभाग के कानूनगो को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया। यह कार्रवाई गुरुवार को देर शाम उस समय हुई जब देहरादून से आई विजिलेंस टीम ने पहले से तैयार योजना के तहत आरोपी को 20 हजार रुपये की घूस लेते हुए धर दबोचा।
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता के अनुसार गिरफ्तार कानूनगो का नाम सुभाष बताया गया है जो पहले लेखपाल के पद पर कार्यरत था और हाल ही में प्रमोट होकर कानूनगो बना था।
आरोप है कि सुभाष ने एक व्यक्ति से जमीन संबंधी कार्य को निपटाने के एवज में 20 हजार रुपये की अवैध मांग की थी। पीड़ित ने यह बात विजिलेंस विभाग को बताई, जिसके बाद शिकायत को गंभीरता से लेते हुए विभाग ने तुरंत कार्रवाई की योजना बनाई।
गुरुवार को विजिलेंस टीम ने पीड़ित को पहले से तैयार नोटों के साथ सुभाष के पास भेजा। जैसे ही आरोपी ने लक्सर स्थित अपने कार्यालय के पास एक दुकान के सामने पीड़ित से घूस की रकम ली, टीम ने उसे रंगे हाथ पकड़ लिया। गिरफ्तारी के बाद आरोपी से पूछताछ शुरू कर दी गई है और देर रात तक विजिलेंस टीम आरोपी के कार्यालय और अन्य संबंधित दस्तावेजों की जांच में जुटी रही।
इस कार्रवाई से चकबंदी विभाग में हड़कंप मच गया है। विभाग के कई कर्मचारी और अधिकारी भी विजिलेंस के रडार पर बताए जा रहे हैं। विभाग के उच्च अधिकारियों ने मामले की गंभीरता को देखते हुए तत्काल पूरे घटनाक्रम की रिपोर्ट तलब की है और कहा है कि दोषियों को किसी भी हालत में बख्शा नहीं जाएगा।
विजिलेंस अधिकारियों ने बताया कि आरोपी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है और उसे कोर्ट में पेश किया जाएगा। साथ ही आरोपी के पिछले कार्यकाल और अन्य लेन-देन की भी जांच की जाएगी ताकि पता लगाया जा सके कि कहीं और भी भ्रष्टाचार के मामले तो नहीं जुड़े हैं।
लक्सर क्षेत्र में इस कार्रवाई को विजिलेंस की बड़ी सफलता माना जा रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है कि जमीन से जुड़े कामों में लंबे समय से भ्रष्टाचार की शिकायतें मिलती रही हैं लेकिन इस तरह की कार्रवाई से जनता में भरोसा बढ़ेगा और सरकारी दफ्तरों में बैठे भ्रष्ट कर्मचारियों में खौफ भी पैदा होगा।
फिलहाल विजिलेंस टीम आरोपी से पूछताछ कर रही है और आगे की कार्रवाई की तैयारी कर रही है। माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में चकबंदी विभाग में और भी कर्मचारियों की भूमिका की जांच हो सकती है।