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                        राम मंदिर अब भारत के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक गौरव का केंद्र बन गया है। मंदिर का निर्माण कार्य पूरा होने के साथ ही, परिसर के भीतर अन्य मंदिरों और सुविधाओं का विकास भी ज़ोरों पर है।
अयोध्या: उत्तर प्रदेश के अयोध्या में 22 जनवरी 2024 को बहुप्रतिष्ठित राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा की गई थी, जिस दौरान राम लला की दिव्य मूर्ति की स्थापना हुई थी। यह ‘प्राण प्रतिष्ठा' केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि यह एक युग परिवर्तन का प्रतीक बन गई। इस ऐतिहासिक घटना के बाद अयोध्या के हालात में अभूतपूर्व बदलाव देखने को मिल रहा है।
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता ने मौके पर पहुंच कर अयोध्या के राम मंदिर में दर्शन के लिए आ रहे श्रद्धालुओं से बात की और हालात का जायजा लिया कि वहां क्या बदलाव देखने को मिल रहा है।
प्राण प्रतिष्ठा के बाद से ही रामलला के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ रहा है। अब यह भीड़ केवल पारंपरिक त्योहारों या मेलों तक सीमित नहीं है, बल्कि वर्ष भर रहने लगी है।
शहर में बुनियादी ढांचे का विकास तेज़ी से हुआ है। सड़कों का चौड़ीकरण, नए रेलवे स्टेशन और अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे का निर्माण अयोध्या को नए स्तर पर थापित कर रहा है।
पर्यटन में भारी वृद्धि हुई है, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को ज़बरदस्त बढ़ावा मिला है। होटल, गेस्ट हाउस और 'होम स्टे' की संख्या में बेतहाशा वृद्धि हुई है, जिससे रोजगार के नए अवसर पैदा हुए हैं।
राम मंदिर अब भारत के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक गौरव का केंद्र बन गया है। मंदिर का निर्माण कार्य पूरा होने के साथ ही, परिसर के भीतर अन्य मंदिरों और सुविधाओं का विकास भी ज़ोरों पर है।
यह कहना गलत नहीं होगा कि अयोध्या शहर का स्वरूप पूरी तरह से बदल गया है, आधुनिकता और आध्यात्मिकता का संगम देखने को मिल रहा है। सुरक्षा व्यवस्था को चाक-चौबंद किया गया है, और प्रशासन भक्तों की सुविधाओं के लिए लगातार प्रयासरत है।
