

जिले में संगठित अपराधों पर अंकुश लगाने और अपराधियों की गिरफ्तारी हेतु चलाए जा रहे अभियान के तहत गोरखपुर पुलिस ने सामूहिक दुष्कर्म जैसे जघन्य अपराध में शामिल तीन अभियुक्तों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई की है।
सामूहिक दुष्कर्म करने वाले गिरोह पर चला गैंगस्टर
Gorakhpur: जिले में संगठित अपराधों पर अंकुश लगाने और अपराधियों की गिरफ्तारी हेतु चलाए जा रहे अभियान के तहत गोरखपुर पुलिस ने सामूहिक दुष्कर्म जैसे जघन्य अपराध में शामिल तीन अभियुक्तों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई की है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक, कैम्पियरगंज पुलिस ने गैंग लीडर शिवम तिवारी समेत उसके गिरोह के दो सदस्यों गोलू उर्फ विकास यादव और दिनेश के खिलाफ गिरोहबंद एवं समाज विरोधी क्रिया कलाप (निवारण) अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राज करन नैयर के निर्देशन में व पुलिस अधीक्षक उत्तरी के मार्गदर्शन में यह कार्रवाई की गई। कैम्पियरगंज थाना प्रभारी ने बताया कि शिवम तिवारी अपने गिरोह के सदस्यों संग भौतिक लाभ व अन्य स्वार्थ साधने के उद्देश्य से सामूहिक रूप से संगठित गिरोह बनाकर चोरी, दुष्कर्म और संगीन अपराधों को अंजाम देता रहा है। इस गैंग के सदस्यों का इलाके में भय व आतंक व्याप्त है, जिससे आम जनता में दहशत बनी रहती थी।
गौरतलब है कि इनके खिलाफ कैम्पियरगंज थाने में सामूहिक दुष्कर्म का केस मु0अ0सं0 463/2024 धारा 70(1), 78, 351(3) बीएनएस व पाक्सो एक्ट में दर्ज है। गैंग लीडर शिवम तिवारी पुत्र परमानंद उर्फ पप्पू तिवारी, निवासी हरपुर, थाना मेंहदावल, संतकबीरनगर के खिलाफ पहले से ही हत्या का प्रयास, चोरी, आईटी एक्ट, मारपीट, पाक्सो समेत कई धाराओं में नौ मुकदमे दर्ज हैं। शिवम तिवारी के खिलाफ पीपीगंज, गोरखनाथ, मेहदावल और कैम्पियरगंज थानों में गंभीर मुकदमे पंजीकृत हैं।
वहीं गिरोह के दूसरे सदस्य गोलू उर्फ विकास यादव और दिनेश के खिलाफ भी कैम्पियरगंज थाने में सामूहिक दुष्कर्म व पाक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज है। पुलिस ने श्रीमान जिला मजिस्ट्रेट गोरखपुर से अनुमोदन लेकर गैंग चार्ट तैयार कर गैंगस्टर की कार्रवाई की है। इनकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार दबिश दे रही है ताकि इलाके में अपराध पर रोक लगाई जा सके और आमजन को भयमुक्त माहौल दिया जा सके।
गिरोह के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट में दर्ज मुकदमा मु0अ0सं0 417/25 धारा 2(ख)(I),(XI)/ धारा 3(1) उत्तर प्रदेश गिरोहबंद और समाज विरोधी क्रिया कलाप (निवारण) अधिनियम 1986 के तहत दर्ज किया गया है। पुलिस अधिकारियों ने कहा कि संगठित अपराध पर अंकुश लगाने के लिए ऐसे अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई आगे भी जारी रहेगी।
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