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राजस्थान पुलिस की एजीटीएफ, एटीएस और एएनटीएफ की संयुक्त कार्रवाई में लॉरेन्स बिश्नोई गैंग का कुख्यात अपराधी जग्गा धुरकोट अमेरिका में गिरफ्तार किया गया है। वह रोहित गोदारा गिरोह से भी जुड़ा था और विदेश से भारत में आपराधिक गतिविधियां चला रहा था। अमेरिकी एजेंसी ICE ने उसे कनाडा सीमा से पकड़ा, प्रत्यर्पण प्रक्रिया जारी है।
लॉरेन्स बिश्नोई
Jaipur: राजस्थान पुलिस की एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स (AGTF), एटीएस और एएनटीएफ की संयुक्त कार्रवाई में लॉरेन्स बिश्नोई गैंग से जुड़ा कुख्यात अपराधी जगदीप सिंह उर्फ जग्गा धुरकोट को अमेरिका में गिरफ्तार कर लिया गया है। यह कार्रवाई राजस्थान पुलिस के लिए एक अंतरराष्ट्रीय स्तर की बड़ी सफलता मानी जा रही है।
अतिरिक्त महानिदेशक पुलिस (AGTF) दिनेश एम. एन. के निर्देशन में पुलिस लंबे समय से जग्गा की गतिविधियों पर कड़ी निगरानी रख रही थी। अधिकारियों ने बताया कि जग्गा न केवल लॉरेन्स बिश्नोई गैंग, बल्कि रोहित गोदारा गिरोह से भी जुड़ा हुआ था और विदेश से बैठकर भारत में कई उगाही, फायरिंग और हत्या की घटनाओं को संचालित कर रहा था।
पुलिस सूत्रों के अनुसार एजीटीएफ ने जग्गा के विदेशी नेटवर्क की गहन निगरानी कर अमेरिका और अन्य अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों के साथ समन्वय स्थापित किया। इसी के तहत अमेरिकी एजेंसी U.S. Immigration and Customs Enforcement (ICE) ने उसे कनाडा सीमा के पास से हिरासत में लिया। वर्तमान में जग्गा अमेरिकी पुलिस की कस्टडी में है और भारत में उसके प्रत्यर्पण की कानूनी प्रक्रिया प्रारंभ हो चुकी है।
पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक, जग्गा धुरकोट पर पंजाब में एक दर्जन से अधिक गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। वह न्यायालय द्वारा उद्घोषित अपराधी (Proclaimed Offender) घोषित है। राजस्थान में भी उसके विरुद्ध जोधपुर के प्रतापनगर और सरदारपुरा थानों में दर्ज मामलों में गिरफ्तारी वारंट जारी किए गए हैं।
जग्गा धुरकोट का नाम कई बड़े अपराधों और हत्याकांडों में जुड़ा रहा है। मार्च 2017 में डॉ. सुनील चांडक पर फायरिंग और सितंबर 2017 में वासुदेव इसरानी हत्याकांड में वह लॉरेन्स और अनमोल बिश्नोई के साथ जेल में बंद था। जेल में रहते हुए भी वह गैंग के लिए उगाही और शूटआउट की घटनाओं को अंजाम दिलवाने में सक्रिय था। तीन साल पहले वह अपने पासपोर्ट पर दुबई भाग गया, जहां से उसने अवैध रूप से अमेरिका में प्रवेश किया और वहीं से गैंग की गतिविधियों को रिमोट कंट्रोल की तरह संचालित करता रहा। उसने कई मामलों में जमानत तोड़कर फरारी काटी, जिसके बाद अदालतों ने उसके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट और रेड कॉर्नर नोटिस जारी किए।
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एजीटीएफ की टीम ने उसके भारत में मौजूद नेटवर्क और वित्तीय संपर्कों की जानकारी जुटाने के लिए लगातार देश के विभिन्न राज्यों में दबिशें दीं। राजस्थान पुलिस का कहना है कि जग्गा के प्रत्यर्पण के बाद उससे पूरे अंतरराज्यीय और अंतरराष्ट्रीय गैंग नेटवर्क का खुलासा होने की संभावना है। पुलिस ने बताया कि उसके खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 111 (बीएनएस) सहित गैंगस्टर एक्ट के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी। राजस्थान पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों ने इस सफलता को “अंतरराष्ट्रीय अपराध से निपटने की दिशा में बड़ा कदम” बताया है।