Sonbhadra News: बिजली संकट पर ग्रामीणों का फूटा गुस्सा, विभागीय लापरवाही के खिलाफ कार्रवाई की मांग

यूपी के सोनभद्र जनपद में बिजली विभाग की लापरवाही से परेशान होकर ग्रामीणों ने जमकर प्रदर्शन किया है। पढ़ें डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी खबर

Post Published By: सौम्या सिंह
Updated : 27 May 2025, 10:39 AM IST
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सोनभद्र: जनपद के नगवां ब्लॉक अंतर्गत ग्राम दुबेपुर फीडर से जुड़े गांवों में एक सप्ताह से बिजली आपूर्ति ठप है। लगातार हो रही इस अनदेखी और बिजली विभाग की लापरवाही से परेशान होकर आज मंगलवार को ग्रामीणों ने जमकर प्रदर्शन किया। आक्रोशित ग्रामीणों ने नारेबाजी करते हुए बिजली विभाग के खिलाफ विरोध जताया और जल्द से जल्द बिजली बहाल करने की मांग की।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, प्रदर्शन कर रहे ग्रामीणों ने बताया कि गांव में ट्रांसफार्मर और मुख्य केबल जलने की शिकायत एक सप्ताह पहले ही संबंधित विभाग को दी जा चुकी थी, लेकिन अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। इससे पूरे गांव में अंधेरा पसरा हुआ है और जनजीवन पूरी तरह से अस्त-व्यस्त हो गया है।

एक हफ्ते से अंधेरे में डूबा दुबेपुर गांव

ग्रामीणों का कहना है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के स्पष्ट निर्देश हैं कि जले हुए ट्रांसफार्मर को 24 घंटे के भीतर बदला जाए और ग्रामीण क्षेत्रों में कम से कम 18 घंटे बिजली की आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। इसके बावजूद बिजली विभाग के अधिकारी सीएम के आदेशों की खुलेआम अनदेखी कर रहे हैं।

बिजली संकट के कारण गांव में पेयजल की आपूर्ति बाधित हो गई है, ट्यूबवेल नहीं चलने से लोग पानी के लिए इधर-उधर भटक रहे हैं। वहीं, बच्चे पढ़ाई नहीं कर पा रहे हैं और मोबाइल चार्ज न हो पाने से ऑनलाइन कक्षाएं भी प्रभावित हो रही हैं। ग्रामीणों ने बताया कि बिजली की अनुपलब्धता से महिलाओं और बुजुर्गों को सबसे अधिक परेशानी हो रही है।

Power Crisis in Sonbhadra

बिजली की किल्लत से त्रस्त ग्रामीण

बिजली संकट पर ग्रामीणों का फूटा गुस्सा

बरसात का मौसम शुरू हो चुका है और रात के समय गांव में घना अंधेरा होने के कारण लोगों को सांप-बिच्छू जैसे विषैले जीवों से खतरा बढ़ गया है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि अगले 48 घंटों में बिजली की आपूर्ति बहाल नहीं की गई तो वे जिलाधिकारी का घेराव करेंगे और बड़ा आंदोलन करेंगे।

विभागीय लापरवाही के खिलाफ सड़क पर उतरे लोग

ग्रामीण रामकृपाल यादव ने कहा, हमने कई बार विभागीय अधिकारियों को शिकायत दी, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। अब अगर प्रशासन और सरकार ने हमारी सुध नहीं ली, तो हमें सड़कों पर उतरने को मजबूर होना पड़ेगा।

गांव के ही एक अन्य निवासी ने बताया, बिजली न होने से न तो घर का कामकाज हो पा रहा है और न ही बच्चे पढ़ पा रहे हैं। हम रातभर अंधेरे में डर के साए में जी रहे हैं।

इस पूरे प्रकरण में हैरानी की बात यह है कि जनप्रतिनिधि भी मौन साधे हुए हैं। ना कोई मौके पर आया, ना ही किसी ने ग्रामीणों की समस्या को शासन स्तर तक पहुँचाने की कोशिश की।

ग्रामीणों ने सरकार से अपील की है कि बिजली विभाग के लापरवाह अधिकारियों पर तत्काल कार्रवाई की जाए और गांव में जल्द से जल्द बिजली बहाल की जाए, ताकि लोग सामान्य जीवन जी सकें।

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