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रायबरेली के ऊंचाहार बीआरसी में आयोजित विशेष समारोह में जिलाधिकारी हर्षिता माथुर ने 197 दिव्यांग बच्चों को सहायक उपकरण वितरित किए। कार्यक्रम का उद्देश्य बच्चों को आत्मनिर्भर बनाना और उन्हें समाज की मुख्यधारा से जोड़ना रहा।
Raebareli: रायबरेली जनपद के ऊंचाहार स्थित ब्लॉक संसाधन केंद्र (बीआरसी) में सोमवार को दिव्यांग बच्चों के लिए एक भव्य सहायक उपकरण वितरण समारोह का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य दिव्यांग बच्चों के जीवन को सरल बनाना और उन्हें समाज की मुख्यधारा से जोड़ना रहा। कार्यक्रम में जिलाधिकारी हर्षिता माथुर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहीं, जबकि उप जिलाधिकारी राजेश श्रीवास्तव विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल हुए।
197 दिव्यांग बच्चों को मिला लाभ
इस कार्यक्रम के दौरान कुल 197 दिव्यांग बच्चों को उनकी आवश्यकताओं के अनुसार सहायक उपकरण वितरित किए गए। जिला प्रशासन और शिक्षा विभाग के संयुक्त प्रयास से आयोजित इस शिविर में बच्चों को व्हीलचेयर, ट्राई साइकिल, रोलेटर, क्रंच, ब्रेल किट सहित अन्य जरूरी सामग्री प्रदान की गई।
डीएम ने बच्चों का बढ़ाया हौसला
जिलाधिकारी हर्षिता माथुर ने स्वयं बच्चों को उपकरण प्रदान करते हुए उनका उत्साह बढ़ाया। उन्होंने कहा कि दिव्यांग बच्चे समाज का अभिन्न अंग हैं और यदि उन्हें सही समय पर उचित सहायता और अवसर मिलें, तो वे किसी भी क्षेत्र में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा सकते हैं। उन्होंने अभिभावकों को भी आश्वस्त किया कि प्रशासन दिव्यांग बच्चों के कल्याण के लिए हर संभव प्रयास करता रहेगा।
एनटीपीसी और महामना मालवीय सेवा संस्थान की पहल
कार्यक्रम के दौरान सामाजिक सरोकार निभाते हुए महामना मालवीय सेवा संस्थान (एनटीपीसी ऊंचाहार) द्वारा दिव्यांग बच्चों को कड़ाके की ठंड से बचाव के लिए कंबल भी वितरित किए गए। संस्थान के इस मानवीय कदम की अधिकारियों, अभिभावकों और उपस्थित लोगों ने मुक्त कंठ से सराहना की।
14 श्रेणियों में वितरित किए गए उपकरण
शिविर में कुल 14 श्रेणियों में बच्चों को विभिन्न प्रकार के सहायक उपकरण प्रदान किए गए। इनमें छोटी और बड़ी व्हीलचेयर (24), सीपी चेयर (14), टीएलएम किट (47), ट्राई साइकिल (29), बड़े और छोटे रोलेटर (16), एल्बो क्रंच (56), ब्रेल किट व सुगम्य केन (8) शामिल रहे। इसके अलावा फोल्डेबल वाकर और अन्य सहायक सामग्रियां भी वितरित की गईं।
शिक्षा और जीवन में बाधा न बने दिव्यांगता
जिलाधिकारी हर्षिता माथुर ने कहा कि प्रशासन का लक्ष्य है कि कोई भी दिव्यांग बच्चा उपकरणों के अभाव में शिक्षा, उपचार या सामान्य जीवन से वंचित न रहे। उन्होंने बीआरसी अधिकारियों को निर्देश दिए कि जरूरतमंद बच्चों की पहचान कर उन्हें समय पर सहायता उपलब्ध कराई जाए।
अभिभावकों ने जताया आभार
कार्यक्रम में बड़ी संख्या में दिव्यांग बच्चों के अभिभावक उपस्थित रहे। उन्होंने जिला प्रशासन और शिक्षा विभाग का आभार जताते हुए कहा कि इस तरह के कार्यक्रम बच्चों के आत्मविश्वास को बढ़ाने में अहम भूमिका निभाते हैं। बीआरसी के अधिकारी और कर्मचारी भी कार्यक्रम को सफल बनाने में सक्रिय रहे।