

न्यायिक प्रक्रिया को गति देने और मुकदमों के निस्तारण को सरल बनाने की दिशा में गोरखपुर जनपद को गुरुवार को एक और बड़ी सौगात मिली। संयुक्त निदेशक अभियोजन कार्यालय में जिले का दूसरा वीडियो कांफ्रेंसिंग कक्ष शुरू हो गया। पढिए पूरी खबर
गोरखपुर: न्यायिक प्रक्रिया को गति देने और मुकदमों के निस्तारण को सरल बनाने की दिशा में गोरखपुर जनपद को गुरुवार को एक और बड़ी सौगात मिली। संयुक्त निदेशक अभियोजन कार्यालय में जिले का दूसरा वीडियो कांफ्रेंसिंग कक्ष शुरू हो गया। अपर निदेशक अभियोजन ललित मुद्दल ने फीता काटकर इस अत्याधुनिक सुविधा का शुभारंभ किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि “प्रदेश सरकार न्याय व्यवस्था को पारदर्शी और सुलभ बनाने के लिए लगातार नवाचार कर रही है। वीडियो कांफ्रेंसिंग जैसी तकनीक से मुकदमों की सुनवाई तेजी से होगी और वादियों को समय पर न्याय मिल सकेगा।”
गाजीपुर के एक मुकदमे में ऑनलाइन गवाही...
जानकारी के मुताबिक, उद्घाटन कार्यक्रम के दौरान पुलिस उपाधीक्षक विजय आनंद शाही ने गाजीपुर के एक मुकदमे में ऑनलाइन गवाही देकर इसकी शुरुआत की। अधिकारियों का कहना है कि इस तकनीक से गवाहों और अधिकारियों को गवाही के लिए दूर-दराज की कोर्ट में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इससे न केवल समय की बचत होगी बल्कि सरकारी खर्च में भी उल्लेखनीय कमी आएगी। अब तक इस व्यवस्था से करीब आठ लाख रुपये की बचत हो चुकी है।
सरकारी संसाधनों का सदुपयोग
अपर निदेशक अभियोजन ललित मुद्दल ने कहा कि इस तकनीक का विस्तार प्रदेश के न्यायिक ढांचे में क्रांतिकारी बदलाव लाएगा। उन्होंने कहा कि “गोरखपुर में दूसरा कक्ष शुरू होना यहां की न्याय व्यवस्था के लिए बड़ी उपलब्धि है। इससे सरकारी संसाधनों का सदुपयोग होगा और पीड़ित पक्ष को भी राहत मिलेगी।”
आधुनिक तकनीक से जोड़ने की ऐतिहासिक पहल
प्रभारी संयुक्त निदेशक अशोक मिश्र ने कहा कि वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये मामलों का त्वरित निस्तारण संभव होगा। वहीं वरिष्ठ अभियोजन अधिकारी संदीप सिंह और बीडी मिश्रा ने भी इसे न्याय व्यवस्था को आधुनिक तकनीक से जोड़ने की ऐतिहासिक पहल बताया। कार्यक्रम में अन्य अभियोजन अधिकारी और सहायक अभियोजन अधिकारी भी मौजूद रहे।
कांफ्रेंसिंग कक्षों की संख्या बढ़ने से न्यायिक प्रक्रिया
विशेषज्ञों का मानना है कि वीडियो कांफ्रेंसिंग कक्षों की संख्या बढ़ने से न्यायिक प्रक्रिया अधिक पारदर्शी होगी। वादियों को बार-बार तिथि बदलने की समस्या से भी निजात मिलेगी। इसके साथ ही गवाहों और अधिकारियों का वक्त बचने के साथ ही उनकी सुरक्षा भी सुनिश्चित होगी।
STF को मिली बड़ी सफलता; 7 साल से फरार अपराधी को किया गिरफ्तार, नेपाल भागने की फिराक में था आरोपी
गोरखपुर में दूसरा वीडियो कांफ्रेंसिंग कक्ष खुलने के बाद उम्मीद जताई जा रही है कि मुकदमों के निस्तारण की गति और भी तेज होगी। यह कदम न केवल न्यायिक प्रक्रिया में पारदर्शिता और त्वरितता लाएगा बल्कि प्रदेश सरकार की तकनीक आधारित न्याय व्यवस्था की सोच को भी मजबूत करेगा।