तीन मार्च: क्रिकेट की दो बड़ी घटनाओं का गवाह

डीएन ब्यूरो

क्रिकेट के इतिहास में तीन मार्च के दिन का खास महत्व है। साल के तीसरे महीने का यह तीसरा दिन इस खेल की दो बड़ी घटनाओं का गवाह है।

मुथैया मुरलीधरन
मुथैया मुरलीधरन


नई दिल्ली: क्रिकेट के इतिहास में तीन मार्च के दिन का खास महत्व है। साल के तीसरे महीने का यह तीसरा दिन इस खेल की दो बड़ी घटनाओं का गवाह है। 

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3 मार्च 2006 को श्रीलंका के स्पिन गेंदबाज मुथैया मुरलीधरन ने अपना 100वां टेस्ट मैच खेलते हुए अपना 1000वां अन्तरराष्ट्रीय विकेट हासिल किया था। यह कारनामा करने वाले मुरलीधरन दुनिया के पहले गेंदबाज बने।

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यह इत्तेफाक है कि इस दिन की दूसरी घटना में भी श्रीलंका की भागीदारी रही। 3 मार्च 2009 को पाकिस्तान के लाहौर में मैच खेलने जा रही श्रीलंका की क्रिकेट टीम की बस पर हथियारबंद लोगों ने गोलियाँ चलाईं। श्रीलंका की टीम दोनों देशों के बीच खेले जा रहे श्रृंखला के दूसरे टेस्ट मैच के तीसरे दिन के खेल के लिए स्टेडियम की तरफ जा रही थी, जब बस को निशाना बनाया गया। घटना के बाद मैच रद्द कर दिया गया। (भाषा)










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