Bangladesh Violence: अराजकता की पराकाष्ठा को लांघ चुके वहशी दरिदों का चाणक्य कौन?
मगध साम्राज्य में नंद वंश के सम्राट धनानंद के विषय में कहा जाता है कि वह ‘धन के भंडार भरने का आदी’ था। एक बार भरी सभा में मद (अहंकार) में अंधे अभिमानी धनानंद ने स्वाभिमानी प्रखर बुद्धिमान एवं ब्राह्मण शिरोमणि, चाणक्य के रंग-रूप एवं वेशभूषा को देखकर उनका उपहास करते हुए अपमानित करके राजमहल से निकाल दिया। पढ़िये प्रो. डॉ सरोज व्यास का यह व्लॉग