

यूपी के अयोध्या में भदरसा गैंग रेप मामले में आरोप तय नहीं हो पाया है। ज्यादा जानकारी के लिये पढ़िये डाइनामाइट न्यूज की ये रिपोर्ट।
अयोध्या: जिले में भदरसा गैंगरेप मामले (Bhadarsa Gangrape Case) में मंगलवार को अदालत में आरोप तय नहीं हो सका। अभियुक्त मोईद अहमद के अधिवक्ता ने उसकी तरफ से पैरवी करने के लिए वकालत नामा दाखिल किया, जबकि राजू (Raju) की ओर से पैरवी के लिए कोई अधिवक्ता उपस्थित नहीं हुआ। उसे अधिवक्ता मुहैया कराने के लिए कोर्ट ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण (District Legal Services Authority) को पत्र लिखने का आदेश दिया है।
दिन प्रतिदिन हो सुनवाई
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता के मुताबिक उच्च न्यायालय की लखनऊ खंडपीठ ने मामले में मोईद अहमद की जमानत अर्जी का निस्तारण करते समय पीड़िता और वादी मुकदमा का बयान 1 माह के अंदर दर्ज करने का निर्देश दिया है। साथ ही जब तक दोनों का बयान न दर्ज हो जाए मुकदमे की सुनवाई दिन प्रतिदिन करने को भी कहा है।
अगली पेशी 10 अक्टूबर को
भदरसा गैंगरेप कांड में आज मंगलवार को पेशी थी। दोनों अभियुक्तों मोईद खान और राजू को मंडल कारागार से कड़ी सुरक्षा व्यवस्था में अदालत के समक्ष पेश किया गया। मोईद खान (Moeed Khan) की ओर से वकालत नामा दाखिल हुआ, जबकि दूसरे अभियुक्त की तरफ से कोई अधिवक्ता नहीं नियुक्त हुआ। इसके चलते पैरवी करने के लिए राज्य की तरफ से अधिवक्ता मुहैया कराने के लिए पत्र लिखा जाएगा। यह पत्र जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव को लिखा जाएगा। उनके द्वारा अधिवक्ता मुहैया करवाने के बाद मामले में अगली कार्रवाई होगी। मामले में अगली पेशी 10 अक्टूबर नियत की गई है।