

भारत की युवा शतरंज खिलाड़ी दिव्या देशमुख ने FIDE महिला शतरंज विश्व कप जीतकर ग्रैंडमास्टर का खिताब हासिल किया। उन्होंने फाइनल में कोनेरू हम्पी को हराया और सबसे कम उम्र की विश्व कप विजेता बनीं। महाराष्ट्र सरकार ने उन्हें 3 करोड़ रुपये का पुरस्कार भी दिया।
CM फडणवीस ने दिए दिव्या देशमुख को 3 करोड़ (सोर्स- एक्स)
Nagpur: भारत की युवा शतरंज स्टार दिव्या देशमुख ने हाल ही में FIDE महिला शतरंज विश्व कप जीतकर इतिहास रच दिया है। इस प्रतिष्ठित खिताब को जीतते ही दिव्या ने ग्रैंडमास्टर का खिताब भी हासिल कर लिया। फाइनल मुकाबले में उन्होंने भारत की शीर्ष खिलाड़ी कोनेरू हम्पी को टाईब्रेकर में मात दी। दिव्या यह खिताब जीतने वाली सबसे कम उम्र की खिलाड़ी बन गई हैं। पूरे टूर्नामेंट में उनका प्रदर्शन शानदार रहा और उन्होंने शतरंज प्रेमियों का दिल जीत लिया। जिसका इनाम भी उन्हें महाराष्ट्र सरकार द्वारा मिला है।
महाराष्ट्र सरकार ने दिव्या के इस ऐतिहासिक सम्मान पर उन्हें पुरस्कृत किया है। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने 2 अगस्त को एक समारोह में दिव्या को 3 करोड़ रुपये का इनाम दिया। दिव्या नागपुर की रहने वाली हैं और मुख्यमंत्री फडणवीस भी इसी शहर से हैं। इस अवसर पर दिव्या ने मुख्यमंत्री और नागपुर के लोगों का आभार जताया। उन्होंने कहा कि यह उनके लिए बहुत खास पल है और वह बच्चों को प्रोत्साहित करने वाली प्रेरणा बनना चाहती हैं। साथ ही उन्होंने अपने माता-पिता को भी इस सफलता के लिए धन्यवाद दिया।
🔸मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस इनके करकमलों से 2025 की FIDE महिला विश्वकप विजेती प्रथम भारतीय महिला, ग्रॅन्डमास्टर दिव्या देशमुख का भव्य 'नागरी सम्मान समारोह'।
इस अवसर पर मंत्री एड. माणिकराव कोकाटे, राज्यमंत्री एड. आशिष जयस्वाल, विधायक कृष्णा खोपडे, विधायक डॉ. परिणय फुके समेत… pic.twitter.com/2h2N6cy8K2— CMO Maharashtra (@CMOMaharashtra) August 2, 2025
दिव्या ने फाइनल में कोनेरू हम्पी को हराकर यह उपलब्धि हासिल की। हालांकि हम्पी के पास वापसी का मौका था, लेकिन दिव्या ने अपने बेहतरीन खेल से विश्व कप अपने नाम किया। यह उनकी पहली बड़ी अंतरराष्ट्रीय जीत नहीं है, बल्कि इससे पहले भी उन्होंने कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय खिताब जीते हैं।
दिव्या ने 2012 में मात्र सात साल की उम्र में अंडर-7 राष्ट्रीय चैंपियनशिप जीती थी। इसके बाद 2014 में डरबन में अंडर-10 विश्व युवा चैंपियनशिप और 2017 में ब्राजील में अंडर-12 वर्ग की विश्व चैंपियन बनीं। 2023 में उन्होंने इंटरनेशनल मास्टर का खिताब हासिल किया। 2024 में दिव्या ने विश्व जूनियर गर्ल्स अंडर-20 चैंपियनशिप में 11 में से 10 अंक लेकर टॉप पर कब्जा किया।
दिव्या ने 45वें शतरंज ओलंपियाड में भारत को स्वर्ण पदक दिलाने में अहम भूमिका निभाई। वह एशियाई जूनियर चैंपियन भी रह चुकी हैं। इसी साल उन्होंने फिडे विश्व ब्लिट्ज टीम चैंपियनशिप में विश्व की नंबर एक खिलाड़ी होउ यिफान को भी मात दी है। दिव्या देशमुख ने अपनी कड़ी मेहनत और लगन से शतरंज की दुनिया में एक ऊँचा मुकाम हासिल किया है और भविष्य में उनके और बड़े प्रदर्शन की उम्मीद है।