

नई दिल्ली: पूरे देश में मानसून सक्रिय है। इस साल देश में दक्षिण-पश्चिम मानसून समय से आठ दिन पहले आ गया था। बारिश ने सभी जगह हाहाकार मचा रखा है। इस साल मानसूनी बारिश से पानी से जुड़े दुर्घटनाओं में जानमाल को बड़ी संख्या में नुकसान पहुंचा है।
बारिश ने मचाई तबाही
New Delhi: पूरे देश में मानसून सक्रिय है। इस साल देश में दक्षिण-पश्चिम मानसून समय से आठ दिन पहले आ गया था। बारिश ने सभी जगह हाहाकार मचा रखा है। देश के कई राज्यों में भारी बारिश, बाढ़ और बादल फटने से जनजीवन अस्त-व्यस्त है। इस साल मानसूनी बारिश से पानी से जुड़ी दुर्घटनाओं में जानमाल को बड़ी संख्या में नुकसान पहुंचा है।
केंद्र सरकार ने मंगलवार को लोकसभा में बताया कि राज्यों और केंद्र शासित राज्यों से मिली जानकारी के मुताबिक इस साल 16 जुलाई तक बारिश और पानी से जुड़े हादसों में अबतक 1297 लोगों की मौत हो चुकी है।
सरकार के मुताबिक इन घटनाओं में 50 हजार से अधिक जानवरों की मौत हुई है तो 92 हजार से अधिक घर या झोपड़ियां तबाह हुई हैं। इसके इन बारिश और पानी की वजह से डेढ़ लाख हेक्टेयर से अधिक जमीन पर खड़ी फसल को नुकसान पहुंचा है।
गृह राज्यमंत्री ने बताया कि इस वित्त वर्ष में 15 जुलाई तक 22 राज्यों को एसडीआरएफ के तहत 9578.40 करोड़ रुपये का अंशदान केंद्र सरकार ने दिया है।
जनहानि की सूची
राज्यों की जनहानि की सूची
मध्य प्रदेश, राजस्थान और उत्तर प्रदेश में स्थिति सबसे खराब है। पुष्कर से अजमेर तक और सतना से रीवा तक बाढ़ की स्थिति बेहद गंभीर है. गाड़ियां, खेत-खलिहान और घर पानी में डूब गए हैं. उत्तर से पूर्व-पश्चिम तक बादल इस कदर बरस रहे हैं कि शहर-शहर त्राहि-त्राहि मची है।
जानकारी के अनुसार स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फंड (एसडीआरएफ) और नेशनल डिजास्टर रिस्पांस फंड (एनडीआरएफ) के जरिए राज्यों को राहत और बचाव कार्य के लिए धनराशि मुहैया कराई जाती है। इन फंडों से प्राकृतिक आपदाओं में हुए नुकसान का मुआवजा नहीं दिया जाता है।
नेशनल पॉलिसि ऑन डिजास्टर मैनेजमेंट (एनपीडीएम) प्राकृतिक आपदा के समय जमीनी स्तर पर राहत सामग्री पहुंचाने की जिम्मेदारी राज्यों की है। लैंडस्लाइड और बाढ़ जैसी नोटीफाइड प्राकृतिक आपदा के समय एसडीआरएफ और एनडीआरएफ के जरिए वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई जाती है।
बिहार, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, हरियाणा, चंडीगढ़ और दिल्ली, केरल और माहे, तटीय कर्नाटक, झारखंड, जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, उत्तराखंड, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम में बारिश से भारी नुकसान हुआ है।