

सावन के अंतिम सोमवार पर हजारों श्रद्धालुओं ने मुगलसराय से काशी विश्वनाथ तक 40 किमी की पदयात्रा की। यात्रा के दौरान 35 डीजे और सेवाभाव से पूरे मार्ग को भक्तिमय बना दिया। प्रशासन और सामाजिक संगठनों ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सेवा में तत्परता दिखाई।
मुगलसराय से काशी तक निकली विशाल पदयात्रा
Chandauli: सावन के पवित्र महीने के अंतिम सोमवार को मुगलसराय से काशी विश्वनाथ मंदिर तक श्रद्धा, भक्ति और उत्साह से भरी पदयात्रा निकाली गई। इस पावन अवसर पर हजारों कांवरियों ने लगभग 40 किलोमीटर की दूरी पैदल तय कर बाबा विश्वनाथ के दर्शन किए। हर ओर 'हर हर महादेव' के गगनभेदी जयकारे और डीजे की भक्तिमय धुनों से माहौल भक्तिरस में डूबा रहा।
इस यात्रा की शुरुआत मुगलसराय से हुई, जो पड़ाव, अलीनगर, सकलडीहा होते हुए वाराणसी स्थित काशी विश्वनाथ मंदिर तक पहुंची। पूरे मार्ग पर लगभग 35 डीजे लगाए गए थे, जिन पर श्रद्धालु उत्साहपूर्वक नाचते-गाते चल रहे थे। हर जगह 'बोल बम' और 'हर हर महादेव' के नारों से वातावरण गूंज उठा।
कांवरियों ने किया बाबा का दर्शन
इस पदयात्रा में बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक सभी उम्र के लोग उत्साहपूर्वक शामिल हुए। नौबतपुर निवासी श्री कुमार गुप्ता ने बताया कि वह वर्षों से सावन के अंतिम सोमवार पर बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए पैदल यात्रा करते आ रहे हैं। उन्होंने कहा, बाबा के नाम पर जो भक्ति होती है, उसमें थकान महसूस नहीं होती, बल्कि हर कदम पर ऊर्जा मिलती है।
इसी प्रकार कांवरिया प्रमोद कुमार गुप्ता ने कहा कि यह सिर्फ एक यात्रा नहीं, बल्कि आत्मिक शुद्धि और आस्था का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि बाबा के आशीर्वाद से ही यह 40 किलोमीटर की दूरी बहुत सहज लगती है।
यात्रा के दौरान सुरक्षा व्यवस्था भी सख्त रही। पुलिस अधीक्षक आदित्य लांहे और अलीनगर थाना प्रभारी विनोद मिश्रा के नेतृत्व में पुलिस बल पूरी तरह मुस्तैद था। सामाजिक सेवा संस्थान और नागरिक सुरक्षा के स्वयंसेवकों ने भी श्रद्धालुओं की सेवा और मार्गदर्शन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
सभी मंदिरों में विशेष पूजा-अर्चना
अलीनगर के सकलडीहा मोड़, सपा कार्यालय, कैलाशपुरी काली माता मंदिर, सुभाष नगर पड़ाव और चकिया क्षेत्र में विशेष इंतजाम किए गए थे। इन स्थानों पर शरबत, जलपान और प्रसाद का वितरण किया गया। श्रद्धालुओं ने बताया कि वे गंगा स्नान कर बाबा को जल अर्पण करेंगे और परिवार की सुख-समृद्धि की कामना करेंगे।
सावन के अंतिम सोमवार पर महादेव की भक्ति में डूबा मुगलसराय, काशी तक कांवरियों की विशाल पदयात्रा
सावन का यह अंतिम सोमवार पूरी तरह महादेव की भक्ति में डूबा नजर आया। इस आयोजन ने यह साबित कर दिया कि आस्था में कितनी ताकत होती है, जो लोगों को एकजुट कर देती है। यात्रा के दौरान मार्ग में आने वाले सभी मंदिरों में विशेष पूजा-अर्चना की गई।