

जीएसटी परिषद ने डेरी उत्पादों, उर्वरकों, कृषि उपकरणों और जैव कीटनाशकों पर कर दरों में कमी की घोषणा की। इससे किसानों को राहत मिलेगी, जबकि शीतल पेय पदार्थों और मीठे उत्पादों की कीमतें बढ़ने वाली हैं। यह बदलाव घरेलू खपत को बढ़ावा देने और अर्थव्यवस्था में तेजी लाने के लिए महत्वपूर्ण है।
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New Delhi: जीएसटी विभाग ने कई महत्वपूर्ण उत्पादों पर टैक्स प्रतिशत कम किया है। इससे किसानों और आम जनता को काफी फर्क पड़ेगा। विशेष रूप से सल्फ्यूरिक एसिड, नाइट्रिक एसिड और अमोनिया जैसे उर्वरक कच्चे माल पर जीएसटी 18 प्रतिशत से घटाकर पांच प्रतिशत कर दिया गया है। इससे कृषि क्षेत्र को लाभ होगा और उत्पादकता बढ़ेगी।
नई जीएसटी दरों से किसानों और उपभोक्ताओं को राहत
इसके अलावा कंडेन्स्ड दूध, मक्खन और पनीर जैसे डेरी उत्पादों पर टैक्स दर घटाकर पांच प्रतिशत कर दी गई है। यह उपभोक्ताओं के लिए राहत की बात है। इसके साथ ही ट्रैक्टर, कृषि उपकरण और अन्य संबंधित उत्पादों पर जीएसटी 18 प्रतिशत से घटाकर पांच प्रतिशत कर दिया गया है। जिससे किसानों की लागत में भी कमी आएगी।
कोल्ड ड्रिंक और मीठे पेय पदार्थ महंगे होंगे
हालांकि, जीएसटी परिषद ने शीतल पेय पदार्थों जैसे कोका-कोला और पेप्सी पर जीएसटी की दर को 28 प्रतिशत से बढ़ाकर 40 प्रतिशत करने का फैसला किया है। इसके साथ ही अन्य मीठे पेय पदार्थों जिनमें फल के रस वाले कार्बोनेटेड पेय और कैफीन युक्त पेय शामिल हैं, लेकिन जीएसटी की दर बढ़ाकर 40 प्रतिशत कर दी गई है। इस बदलाव से इन उत्पादों की कीमतों में वृद्धि होगी।
नए टैक्स स्लैब के तहत प्रमुख वस्तुएं
जीएसटी परिषद ने कई वस्तुओं की दरों में कमी की है, जिनमें बालों का तेल, शैंपू, टूथपेस्ट, बर्तन और बच्चों के नैपकीन शामिल हैं। इनमें से अधिकांश वस्तुओं पर कर दर को 18 प्रतिशत से घटाकर पांच प्रतिशत किया गया है, जबकि कुछ वस्तुओं जैसे स्वास्थ्य बीमा और नक्शे पर जीएसटी दर को शून्य कर दिया गया है।
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इन चीजों पर 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत टैक्स लगाया
इन चीजों पर 18 प्रतिशत से घटाकर शून्य प्रतिशत टैक्स लगाया