Nainital News: भारी बारिश से नदी में उफान, दो मकान और गौशाला बहने से गांव में दहशत

नैनीताल जिले की रामनगर तहसील से करीब 24 किलोमीटर दूर स्थित आपदा ग्रस्त चुकुम गांव इस बार कोसी नदी के उफान का शिकार बन गया है। लगातार हो रही भारी बारिश के चलते नदी का जलस्तर खतरनाक रूप से बढ़ गया है

Post Published By: Poonam Rajput
Updated : 3 September 2025, 10:23 AM IST
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Nainital: नैनीताल जिले की रामनगर तहसील से करीब 24 किलोमीटर दूर स्थित आपदा ग्रस्त चुकुम गांव इस बार कोसी नदी के उफान का शिकार बन गया है। लगातार हो रही भारी बारिश के चलते नदी का जलस्तर खतरनाक रूप से बढ़ गया है और उसने गांव की ओर तेज भू-कटाव शुरू कर दिया है।

तेज बहाव में बह गए दो मकान और एक गौशाला

मंगलवार को नदी के तेज बहाव के कारण गांव के जय किशन का मकान और गौशाला, तथा शोबन सिंह पुत्र मनोहर सिंह का मकान कटान की चपेट में आकर नदी में समा गया। सौभाग्य से समय रहते इन परिवारों ने अपने घर खाली कर लिए थे, जिससे किसी तरह की जनहानि नहीं हुई। हालांकि, मकान और घरेलू सामान बह जाने से इन परिवारों का सब कुछ तबाह हो गया है।

गांव में दहशत और विस्थापन का माहौल

इस भयावह घटना के बाद पूरे गांव में दहशत का माहौल है। ग्रामीणों की आंखों में अब सिर्फ विस्थापन की चिंता और सरकारी सहायता की आस झलक रही है। गांव के लोग फिलहाल अपने रिश्तेदारों के घरों या गांव के प्राथमिक विद्यालय में शरण लेकर किसी तरह सुरक्षित रहने का प्रयास कर रहे हैं।

कोसी नदी का जलस्तर 40,000 क्यूसेक से ऊपर

रामनगर के उप जिलाधिकारी प्रमोद कुमार ने बताया कि मंगलवार सुबह से ही कोसी नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा था, जो अब 40,000 क्यूसेक से अधिक हो चुका है। जलस्तर के बढ़ने के कारण गांव के किनारे भारी भू-कटाव शुरू हो गया है।

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तटबंधों के ऊपर से बह रहा पानी, हालात गंभीर

एसडीएम ने बताया कि प्रशासन द्वारा बनाए गए तटबंधों के ऊपर से अब पानी बहने लगा है, जिससे स्थिति और भी गंभीर होती जा रही है। फिलहाल कोसी नदी का बहाव इतना तेज है कि प्रशासन की टीम गांव तक नहीं पहुंच पा रही है, क्योंकि चुकुम गांव नदी के दूसरी ओर स्थित है।

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प्रभावितों को सुरक्षित स्थानों पर जाने के निर्देश

प्रशासन ने प्रभावित परिवारों को गांव के स्कूल और आसपास के सुरक्षित स्थानों पर शरण लेने के निर्देश दिए हैं। राहत और बचाव कार्यों की योजना तैयार की जा रही है और हालात सामान्य होने पर गांव में नुकसान का आकलन किया जाएगा।

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