

यूपी एसटीएफ ने युवाओं को नौकरी दिलाने का झांसा देकर ठगने वाले गिरोह का गुरुवार को आगरा से पर्दाफाश किया है। एसटीएफ ने गिरोह के पांच सदस्यों को अभ्यर्थियों के मूल शैक्षणिक दस्तावेजों सहित गिरफ्तार किया है।
लखनऊ: यूपी एसटीएफ ने एसएससी और केंद्रीय आर्डिनेंस डिपो में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया है। एसटीएफ ने गिरोह के पांच सदस्यों को अभ्यर्थियों के मूल शैक्षणिक दस्तावेजों सहित आगरा से गिरफ्तार किया है।
गिरफ्तार अभियुक्तों की पहचान धर्मवीर उर्फ धर्मा गूजर पुत्र लायक सिंह, निवासी ग्राम जलालपुर थाना फतेहाबाद आगरा और देवेन्द्र सिंह पुत्र नवाव सिंह वर्मा निवासी पक्कापुरा टडावली थाना फतेहाबाद आगरा, अनूप पुत्र सुनहरी लाल कोरी निवासी ग्राम खेरा भगौर पोस्ट मानखेड़ा थाना मलपुरा आगरा, हरेश पाठक पुत्र सत्यप्रकाश निवासी मनखेड़ा ब्लाक अकोला थाना मलपुरा आगरा और पारस चाहर पुत्र स्व० नेत्रपाल सिंह निवासी ग्राम लाडम अकोला थाना मलपुरा आगरा के रूप में हुई है।
एसटीएफ ने आरोपियों से 6 आधार कार्ड, 4 पैन कार्ड, 4 एडमिट कार्ड, 5 मूल अंकतालिका हाईस्कूल, 1 मूल अंकतालिका इण्टरमीडिएट, 5 मूल जाति प्रमाण पत्र, 4 मूल निवास प्रमण पत्र, 1 एडमिट कार्ड इलेक्ट्रिशियन 510 आर्मी वेस वर्कशाप, 1 आईटीआई प्रमाण पत्र, 1 टोकन नम्बर 381 मुहर लगा हुआ, 1 वोटर आईडी कार्ड, 6 मोबाइल फोन, 1 कार आई-20 यूपी-80डीएच 8234, 1 मोटरसाइकिल और 1130 नकद बरामद किए हैं।
एसटीएफ ने आरोपियों की गिरफ्तारी गुरुवार को अबूलाला की दरगाह के पास तिराहे पर थाना क्षेत्र न्यू आगरा से की है।
जानकारी के अनुसार एसटीएफ उ०प्र० को विभिन्न सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी किये जाने की सूचना प्राप्त हो रही थी। इस सम्बन्ध में एसटीएफ उ०प्र० की विभिन्न इकाई को अभिसूचना संकलन एवं कार्यवाही हेतु निर्देशित किया गया था।
एसटीएफ आगरा की टीम आपराधिक अभिसूचना संकलन के उद्देश्य से भ्रमणशील थी। इसी दौरान मुखबिर से ज्ञात हुआ कि COD/SSC में अस्थाई / स्थाई रूप से नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह के कुछ सदस्य अबूलाला दरगाह के पास थाना क्षेत्र न्यू आगरा में सक्रिय है।
उक्त सूचना पर एसटीएफ फील्ड इकाई आगरा की टीम ने उक्त स्थान पर पहुँच कर 05 व्यक्तियों को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस की पूछताछ में अभियुक्त धर्मवीर ने बताया कि वे गिरोह बनाकर आगरा के आसपास के क्षेत्रों के युवकों को सीओडी/एसएससी/आर्मी वेस वर्कशाप से निकलने वाली भर्ती में नौकरी दिलाने के नाम पर पैसे लेते हैं। कुछ भर्तियों में साल्वर बैठाकर परीक्षा पास करा देते हैं और कुछ में कागजों का हेरफेर कर देते हैं जिससे उनकी नौकरी लग जाती है।
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यदि किसी युवक की नौकरी न लगने पर युवक द्वारा जमा कराये गये मूल कागजात को देने की एवज में उनके द्वारा दिया गया पैसा वापस नहीं किया जाता है।
अनूप, हरेश पाठक, पारस चाहर उपरोक्त द्वारा ग्रामीण क्षेत्र से बेरोजगार युवकों को झांसे में लिया जाता है, जिनसे मिले पैसे में इनको हिस्सा दिया जाता है।
उन्होेंने बताया कि प्रेम चन्द्र वर्मा का काम परीक्षा के समय बैठाने वाले साल्वर का इन्तजाम करना होता है। देवेन्द्र फर्जी दस्तावेजों के आधार पर असम रायफल में सिपाही पद पर भर्ती हो गया था जो जाँच होने पर नौकरी छोड़कर भाग आया।
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पुलिस ने धर्मवीर उर्फ धर्मा के विरूद्ध पूर्व में भी थाना फतेहाबाद, आगरा में संबंधित धाराओं में मामला दर्ज किया है।
पुलिस ने गिरफ्तार अभियुक्तों के विरूद्ध थाना न्यूआगरा, आगरा में मु०अ०सं० 0297/2025 धारा 318(4), 112, 341 (1) बीएनएस में मामला दर्ज किया है। पुलिस आगे की कार्रवाई में जुट गई है।