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जनपद के सहजनवां तहसील क्षेत्र के ग्राम पंचायत धर्मदासपट्टी टोला भेलउर में शुक्रवार की रात मनबढ़ तत्वों ने विकास कार्यों पर खुली चोट करते हुए निर्माणाधीन आरसीसी सड़क को तोड़कर नुकसान पहुंचाया। घटना से ग्रामीणों में भारी आक्रोश है, वहीं ग्राम प्रधान द्वारा इस मामले की शिकायत उपजिलाधिकारी सहजनवां से की गई है।
गोरखपुर में मनबढ़ों का आतंक
Gorakhpur: जनपद के सहजनवां तहसील क्षेत्र के ग्राम पंचायत धर्मदासपट्टी टोला भेलउर में शुक्रवार की रात मनबढ़ तत्वों ने विकास कार्यों पर खुली चोट करते हुए निर्माणाधीन आरसीसी सड़क को तोड़कर नुकसान पहुंचाया। घटना से ग्रामीणों में भारी आक्रोश है, वहीं ग्राम प्रधान द्वारा इस मामले की शिकायत उपजिलाधिकारी सहजनवां से की गई है।
जानकारी के अनुसार ग्राम पंचायत में सरकारी भूमि पर करीब 50 मीटर लंबाई की आरसीसी सड़क का निर्माण कार्य शुरू हुआ था, जिसका उद्देश्य गांव के मुख्य मार्ग को बेहतर और सुरक्षित बनाना था। इसी दौरान शुक्रवार की रात कुछ अराजक तत्वों ने मौके पर पहुंचकर नए-निर्मित हिस्सों को तोड़फोड़ कर दिया और सड़क में लगी ईंटों को उखाड़कर इधर-उधर फेंक दिया। इस कृत्य से न सिर्फ सरकारी धन का नुकसान हुआ है, बल्कि गांव के विकास कार्यों पर भी ग्रहण लग गया है।
ग्राम प्रधान मीना यादव ने बताया कि यह तोड़फोड़ सुनियोजित ढंग से की गई है। उन्होंने कहा कि सड़क निर्माण से कुछ लोगों को असुविधा हो रही थी, जिसके चलते मनबढ़ों ने दबंगई दिखाते हुए सरकारी कार्य में बाधा डाली है। प्रधान ने तुरंत इसकी शिकायत उपजिलाधिकारी सहजनवां केशरी नंदन तिवारी सहित थाने में भी दर्ज कराई है और आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है।
प्रधान का कहना है कि विकास कार्य किसी एक व्यक्ति या वर्ग के लिए नहीं, बल्कि पूरे गांव की सुविधा के लिए किए जा रहे हैं। ऐसे में तोड़फोड़ की घटनाएं न केवल निंदनीय हैं बल्कि कानूनन दंडनीय भी हैं। उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि दोषियों की जल्द पहचान कर कठोर कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में कोई भी व्यक्ति सरकारी कार्यों में बाधा पहुंचाने की हिम्मत न कर सके।
इस मामले पर उपजिलाधिकारी सहजनवां केशरी नंदन तिवारी ने बताया कि शिकायत प्राप्त हो चुकी है। उन्होंने आश्वस्त किया है कि प्रकरण की गंभीरता से जांच कराई जाएगी और जो भी व्यक्ति दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
ग्रामीणों ने भी प्रशासन से अपील की है कि ऐसी घटनाओं पर त्वरित रोक लगे और गांव में चल रहे विकास कार्य बिना किसी बाधा के सुचारू रूप से पूरा हो सकें।
इस घटना ने एक बार फिर सवाल खड़ा कर दिया है कि आखिर विकास कार्यों से मनबढ़ों को इतनी आपत्ति क्यों? क्या निजी स्वार्थ और दबंगई गांव के हित से ऊपर हो गई है? अब देखना यह है कि प्रशासन कितनी तेजी से आरोपियों को चिन्हित कर कार्रवाई करता है।