

उत्तर प्रदेश के महराजगंज में अचानक उस वक्त हड़कंप मचा, जब डाइनामाइट न्यूज़ की टीम स्वास्थ्य विभाग पहुंची। जानिए क्या है पूरी खबर
जानकारी देते सीएमओ
महराजगंज: नौतनवा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में घोर लापरवाही का मामला सामने आया है जिसने स्वास्थ्य विभाग की कार्यप्रणाली को कठघरे में खड़ा कर दिया है। हाल ही में एक प्रसव के उपरांत निकले प्लेसेंटा (जैविक अवशेष) का अस्पताल परिसर में उचित तरीके से निस्तारण नहीं किया गया।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक, इस लापरवाही के कारण वह अवशेष कुत्तों के हवाले हो गया, जिसे वे अस्पताल के बरामदे में घसीटते हुए देखे गए। यह दृश्य न केवल भयावह था, बल्कि पूरे चिकित्सा तंत्र की लापरवाही को उजागर करता है।
इस गंभीर मुद्दे को जब डाइनामाइट न्यूज ने प्रमुखता से उठाया, तो स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया। खबर का संज्ञान लेते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) ने तत्काल जांच के आदेश दिए। जांच में यह सामने आया कि यह घटना अस्पताल कर्मियों की लापरवाही का परिणाम थी।
जिम्मेदार के रूप में संविदा पर तैनात उपचारिका श्रीमती अमिषा विलमियम को चिन्हित किया गया। विभाग ने उनके विरुद्ध कार्रवाई करते हुए उनकी एक वेतनवृद्धि को वाधित कर दिया है। इसके अतिरिक्त, उनके स्थानांतरण की संस्तुति करते हुए प्रस्ताव जिलाधिकारी एवं अध्यक्ष, जिला स्वास्थ्य समिति को प्रेषित कर दिया गया है। अनुमोदन के पश्चात उनका स्थानांतरण शीघ्र कर दिया जाएगा।
स्वास्थ्य विभाग ने स्पष्ट किया है कि जैविक अपशिष्ट निस्तारण, स्वच्छता व्यवस्था और कर्मचारियों की जवाबदेही को लेकर अब शून्य सहनशीलता की नीति अपनाई जाएगी। इस प्रकार की घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने हेतु सभी अस्पतालों को सख्त निर्देश जारी किए जा रहे हैं।
इस घटना के बाद स्थानीय नागरिकों में भी आक्रोश है। लोगों ने इसे बेहद शर्मनाक बताते हुए जिम्मेदारों पर सख्त कार्रवाई की मांग की है। नागरिकों का कहना है कि इस तरह की लापरवाही न केवल जनस्वास्थ्य के लिए खतरा है बल्कि यह अस्पतालों की कार्यप्रणाली और प्रशासन की गंभीरता पर भी प्रश्नचिन्ह लगाती है। वही अब देखने वाली बात यह है कि, आखिर जिम्मेदारों पर सख्त कार्रवाई कब तक होती है। साथ ही ये मामला आगे क्या मोड़ लेता है।