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बरेली के बहेड़ी में गन्ना भुगतान को लेकर भाकियू टिकैत का गुस्सा फूट पड़ा। एसडीएम कार्यालय के बाहर धरना दिया गया और 31 दिसंबर तक भुगतान न होने पर 7 जनवरी को बड़े आंदोलन का ऐलान किया गया। बैठक में मौजूद किसानों ने कहा कि अब सिर्फ आश्वासन से काम नहीं चलेगा।
किसान एसडीएम कार्यालय के बाहर धरने पर
Bareilly: बरेली के बहेड़ी में गन्ना भुगतान को लेकर भारतीय किसान यूनियन (टिकैत) द्वारा आयोजित बैठक के बाद स्थिति तनावपूर्ण हो गई। बैठक के उपरांत किसानों ने एसडीएम बहेड़ी को ज्ञापन सौंपने का प्रयास किया। तत्काल ज्ञापन न लिए जाने पर किसान एसडीएम कार्यालय के बाहर धरने पर बैठ गए। बाद में एसडीएम स्वयं बाहर आकर किसानों का ज्ञापन स्वीकार किया।
गन्ना समिति परिसर में हुई अहम बैठक
भारतीय किसान यूनियन (टिकैत) की एक अहम बैठक गन्ना समिति परिसर बहेड़ी में आयोजित की गई। जिसमें बड़ी संख्या में किसान पदाधिकारी और क्षेत्रीय किसान मौजूद रहे। बैठक का मुख्य मुद्दा पिछले वर्ष का लंबित गन्ना भुगतान रहा। किसानों ने एक सुर में कहा कि महीनों बीत जाने के बावजूद भुगतान न होना बेहद चिंताजनक है और इससे किसानों की आर्थिक स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है।
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कार्यालय तक पहुंचा किसानों का आक्रोश
बैठक के बाद किसान ज्ञापन देने एसडीएम बहेड़ी कार्यालय पहुंचे। जब एसडीएम द्वारा बैठकर ज्ञापन नहीं लिया गया तो किसानों में नाराजगी फैल गई। इसी नाराजगी के चलते किसान एसडीएम कार्यालय के बाहर धरने पर बैठ गए। हालात को गंभीर होता देख एसडीएम स्वयं बाहर आए और किसानों का ज्ञापन स्वीकार किया। इसके बाद धरना समाप्त हुआ लेकिन किसानों का आक्रोश साफ नजर आया।
मीडिया प्रभारी की रही अहम भूमिका
इस पूरे आंदोलन में प्रदेश मीडिया प्रभारी चौधरी अजीत सिंह की भूमिका काफी अहम रही। उन्होंने मीडिया के माध्यम से किसानों की पीड़ा को मजबूती से उठाया और प्रशासन तक किसानों की बात प्रभावी ढंग से पहुंचाई। उनके नेतृत्व में किसानों ने शांतिपूर्ण लेकिन दृढ़ संघर्ष का परिचय दिया, जिससे आंदोलन को मजबूती मिली।
31 दिसंबर की डेडलाइन
बैठक में मौजूद प्रदेश सचिव दानिश खान उर्फ दानिश बाबा ने चेतावनी दी कि यदि 31 दिसंबर तक पिछले वर्ष का गन्ना भुगतान नहीं हुआ तो 7 जनवरी को बहेड़ी गन्ना समिति परिसर में बड़ा धरना दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस आंदोलन की पूरी जिम्मेदारी शासन और प्रशासन की होगी। दानिश बाबा के मार्गदर्शन में किसानों ने एकजुट होकर संघर्ष जारी रखने का संकल्प लिया।
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अब आर-पार की लड़ाई का ऐलान
बैठक में मौजूद किसानों ने कहा कि अब सिर्फ आश्वासन से काम नहीं चलेगा। भुगतान लेकर ही किसान पीछे हटेंगे। संगठन ने संकेत दे दिया है कि जरूरत पड़ी तो आंदोलन को और व्यापक स्तर पर ले जाया जाएगा।