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बांदा जिले की इटवां खदान में अवैध खनन की घटनाएँ लगातार जारी हैं। स्थानीय सूत्रों का कहना है कि खदान संचालक वैध पट्टे का हवाला देकर लगातार अवैध खनन कर रहे हैं। नदी के सीने को चीरती भारी भरकम मशीनें बिना किसी रोक-टोक के खनन कार्य कर रही हैं।
इटवां खदान में अवैध खनन
Banda: बांदा जिले की इटवां खदान में अवैध खनन की घटनाएँ लगातार जारी हैं। स्थानीय सूत्रों का कहना है कि खदान संचालक वैध पट्टे का हवाला देकर लगातार अवैध खनन कर रहे हैं। नदी के सीने को चीरती भारी भरकम मशीनें बिना किसी रोक-टोक के खनन कार्य कर रही हैं।
सूत्रों ने बताया कि हाल ही में जांच टीम भी खदान में पहुंची, लेकिन उन्होंने अवैध खनन को देखने में असमर्थता जताई। इससे स्थानीय लोग और पर्यावरणविद् चिंतित हैं, क्योंकि नदी का प्राकृतिक प्रवाह और आसपास का पारिस्थितिकी तंत्र खतरे में है।
अवैध खनन के खिलाफ बुंदेलखंड इंसाफ सेना ने भी मोर्चा खोल दिया है। संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष AS नोमानी ने कहा कि प्रशासन की नाकामी के कारण खदान में अवैध खनन की घटनाएँ लगातार बढ़ रही हैं। उन्होंने खदान संचालक के खिलाफ तत्काल कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।
ब्रेकिंग न्यूज़ | बांदा
इटवां खदान में अवैध खनन नहीं थम रहा। वैध पट्टे की आड़ में भारी मशीनें नदी का सीना चीर रही हैं। बुंदेलखंड इंसाफ सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष AS नोमानी ने प्रशासन से शिकायत की। कार्यवाही न होने पर आंदोलन की चेतावनी दी।#बांदा #अवैधखनन #BundelkhandInsafSena… pic.twitter.com/kz4ovTjqFk— डाइनामाइट न्यूज़ हिंदी (@DNHindi) November 25, 2025
AS नोमानी ने बताया कि संगठन ने पहले भी कई बार प्रशासन को अवैध खनन के बारे में जानकारी दी थी, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि प्रशासन ने अवैध खनन रोकने के लिए तत्पर कार्रवाई नहीं की तो बुंदेलखंड इंसाफ सेना आंदोलन करने के लिए मजबूर होगी।
राष्ट्रीय अध्यक्ष AS नोमानी ने कहा कि अवैध खनन न केवल प्राकृतिक संसाधनों को नुकसान पहुंचा रहा है बल्कि स्थानीय जनता की सुरक्षा और जीविका पर भी प्रतिकूल प्रभाव डाल रहा है। उन्होंने प्रशासन से आग्रह किया कि अवैध खनन में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए और खदान में निगरानी तंत्र को मजबूत किया जाए।
उन्होंने स्पष्ट किया कि बुंदेलखंड इंसाफ सेना इस मुद्दे पर सतर्क और सक्रिय है और जनता की सुरक्षा तथा प्राकृतिक संसाधनों की रक्षा के लिए हर संभव कदम उठाएगी।
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इटवां खदान में अवैध खनन का मामला प्रशासन की सुस्ती और खदान संचालकों की बेपरवाही को उजागर करता है। स्थानीय लोगों, पर्यावरणविदों और सामाजिक संगठनों की नजरें अब प्रशासन की कार्रवाई पर टिकी हैं। अगर समय रहते कार्रवाई नहीं हुई तो बुंदेलखंड इंसाफ सेना आंदोलन का ऐलान कर सकती है, जिससे इलाके में विरोध प्रदर्शन तेज होने की संभावना है।