

एफएसडीए के अधिकारियों के अनुसार अभी तक जांच के दौरान किसी भी अस्पताल, दवा की दुकान से प्रतिबंधित कोल्ड्रिफ, रिलाइफ और रेस्पिफ्रेश कफ सीरप नहीं मिला है। इसकी बिक्री को लेकर भी प्रदेश में अभियान शुरू हो गया है।
प्रतीकात्मक छवि
Lucknow: देश के अलग-अलग राज्यों में कफ सीरप से हो रही मौतों के बीच खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन (एफएसडीए) ने रविवार को कफ सीरप के 187 नमूने लेकर जांच के लिए भेजे हैं। प्रदेश में छह अक्टूबर से शुरू हुए अभियान में अब तक 782 नमूने लिए जा चुके हैं। ये नमूने 30 से अधिक कंपनियों के कफ सीरप के हैं।
एफएसडीए के अधिकारियों के अनुसार अभी तक जांच के दौरान किसी भी अस्पताल, दवा की दुकान से प्रतिबंधित कोल्ड्रिफ, रिलाइफ और रेस्पिफ्रेश कफ सीरप नहीं मिला है।
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अधोमानक व मिलावटी कफ सीरप के खिलाफ चल रहे अभियान में शुक्रवार को आरपाइक फार्मास्युटिकल प्राइवेट लिमिटेड से भी नमूने लिए गए थे। इस कंपनी की निर्माण इकाई गुजरात में है और मालिक का नाम मनोहर जायसवाल बताया जा रहा है।
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इस कंपनी में दवाओं की जांच के दौरान कोडिन सीरप भी मिला है। इसकी बिक्री को लेकर भी प्रदेश में अभियान शुरू हो गया है।
तमिलनाडु के कांचीपुरम स्थित श्रीसन कंपनी के कोल्ड्रिफ कफ सीरप से अब तक छिंदवाड़ा और बैतूल जिले के 19 बच्चों की मौतें हो चुकी हैं। कुछ बच्चे नागपुर में जीवन के लिए संघर्ष कर रहे हैं। राज्य सरकार ने कार्रवाई के नाम पर दवा लिखने वाले डॉ. प्रवीण सोनी को गिरफ्तार कर लिया। बवाल मचने पर एसडीओपी जितेंद्र सिंह जाट के नेतृत्व में पुलिस अधिकारियों व ड्रग इंस्पेक्टर की एसआईटी ने श्रीसन कंपनी के डायरेक्टर रंगनाथन गोविंदन की गिरफ्तारी की है।