NEET Solver Gang: वाराणसी में नीट सॉल्वर गैंग का पर्दाफाश, यूपी, दिल्ली, बिहार में तक फैला नेटवर्क, जानिये कैसे होती थी सेंधमारी

उत्तर प्रदेश पुलिस ने वाराणसी में MBBS व BDS के लिए देशभर में होने वाली नीट साल्वर गिरोह का पर्दाफाश किया है। इस गिरोह के तार यूपी के अलावा बिहार के पटना और खगड़िया और दिल्ली तक जुड़े हुए हैं। पूरी रिपोर्ट

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 14 September 2021, 6:26 PM IST
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वाराणसी: उत्तर प्रदेश की वाराणसी पुलिस ने MBBS व BDS के लिए देशभर में होने वाली नीट परीक्षा के बड़े साल्वर गैंग का पर्दाफाश किया है। इस गिरोह के तार यूपी के अलावा बिहार के पटना और खगड़िया समेत दिल्ली तक जुड़े हुए हैं। वाराणसी पुलिस ने सारनाथ इलाके के सेंट फ्रांसिस जेवियर स्कूल में बीएचयू से बीडीएस सेकंड ईयर की छात्रा जूली को गिरफ्तार किया। जूली के साथ उसकी मां बबीता को भी गिरफ्तार किया गया। पुलिस पूछताछ में पता चला कि जूली सॉल्वर गैंग के एक बड़े गिरोह से जुड़ी है, जो बड़े हाईटेक तरीके से काम करता है और नीट सॉल्वर के रूप में अभ्यर्थियों से लाखों रुपये वसूलता है।

जानकारी के मुताबिक वर्ष 2021 की नीट परीक्षा में असली परीक्षार्थियों के स्थान पर सॉल्वर को बैठा कर यह गैंग परीक्षा पास कराने का ठेका लेता है और एडमिशन हो जाने पर अभ्यर्थियों से 20 से 30 लाख रुपये की रकम वसूलता है। गिरोह ने अभय मेहता को अपने परिचित विकास कुमार मेहता द्वारा 5 लाख रुपयों के लालच के कारण अपनी बहन जूली कुमारी को सॉल्वर के रूप में परीक्षा देने के लिए तैयार किया था।

पूछताछ में पता चला अपने बेटे अभय के कहने पर मां बबिता ने सॉल्वर गैंग से 5 लाख रुपये लिए थे और जिसके बाद मां ने अपनी डॉक्टर बेटी जूली को त्रिपुरा की रहने वाली हिना विश्वास की जगह नीट परीक्षा में बैठाया था। 

शुरुआती पूछताछ के बाद पुलिस को जानकारी मिली कि जूली 2 साल पहले हुई नीट परीक्षा में 520 नम्बर लाई थी। वह एक बड़े रैकेट से जुड़ी थी। गैंग में 3 टीमें काम करती थी। एक टीम जो 1 या 2 साल पहले नीट परीक्षा में अच्छे अंक पाकर मेडिकल कॉलेज में पढ़ाई कर रहे छात्रों की लिस्ट बनाकर उनको चुनता जो आर्थिक रूप से कमजोर हो। पकड़ी गई जूली भी ऐसे ही बैकग्राउंड से थी, उसके पिता पटना में सब्जी की दुकान लगाते हैं। 

पुलिस के हत्थे चढ़े इस गैंग में बीएचयू, केजीएमसी समेत कई प्रतिष्ठित मेडिकल कॉलेजों के डॉक्टर व पढ़ाई कर रहे छात्र शामिल हैं। गैंग के कुछ सदस्य दिल्ली से भी जुड़े बताये जा रहे हैं, जिसका पुलिस खुलासा करने में जुटी हुई है। 

गैंग का कनेक्शन बिहार के पटना और खगड़िया कनेक्शन है। खगड़िया के विकास कुमार महतो उर्फ विकास कुमार का नाम सामने आया है। जो खगड़िया जिले के गंगौर ओपी क्षेत्र के बेला सिमरी गांव का रहने वाला है। वह वर्षों से पटना में था। ग्रामीणों की नजर में वह वहां रहकर पढ़ाई-लिखाई कर रहा था। पुलिस पूरे गैंग और उसके सदस्यों की धरपकड़ में जुटी हुई है। माना जा रहा है कि अभी इस केस में कई और गिरफ्तारियां हो सकती है। इसके साथ ही कई बड़े खुलासे भी हो सकते हैं।