भारत विश्व अर्थव्यवस्था का ‘लीडर’ बनकर उभर रहा है : सुधांशु त्रिवेदी

डीएन ब्यूरो

भाजपा के सुधांशु त्रिवेदी ने वर्तमान विश्व परिदृश्य में अमेरिका और चीन जैसी प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की विकास दर धीमी पड़ने की ओर ध्यान दिलाते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की विभिन्न नीतियों के कारण हुए विकास के चलते अब विश्व की प्रमुख एजेंसियां भी कहने लगी हैं कि भारत विश्व अर्थव्यवस्था का ‘लीडर’ बनकर उभर रहा है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

सुधांशु त्रिवेदी
सुधांशु त्रिवेदी


नयी दिल्ली: राज्यसभा में मंगलवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सुधांशु त्रिवेदी ने वर्तमान विश्व परिदृश्य में अमेरिका और चीन जैसी प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की विकास दर धीमी पड़ने की ओर ध्यान दिलाते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की विभिन्न नीतियों के कारण हुए विकास के चलते अब विश्व की प्रमुख एजेंसियां भी कहने लगी हैं कि भारत विश्व अर्थव्यवस्था का ‘लीडर’ बनकर उभर रहा है।

‘देश में अर्थव्यवस्था की स्थिति’ पर उच्च सदन में हुई अल्पकालिक चर्चा में भाग लेते हुए भाजपा नेता सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की रिपोर्ट के अनुसार अक्टूबर 2023 में भारत की विकास दर 6.3 प्रतिशत रही जबकि अमेरिका समेत कई विकसित देशों में यह दर दो प्रतिशत से कम थी।

उन्होंने कहा कि चुनौतियां कितनी बड़ी हैं, इस बात से समझना चाहिए कि अमेरिका में दो बड़े बैंक सिग्नेचर बैंक और सिलिकन वैली बैंक डिफाल्टर (विफल) हो गये, चीन की सबसे बड़ी रियल एस्टेट कंपनी एवर ग्रांड डिफाल्टर हो गयी। उन्होंने कहा कि यह दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं की हालत है किंतु क्या भारत में ऐसा कोई उदाहरण मिला है?

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार त्रिवेदी ने कहा, ‘‘यह दर्शाता है कि कितनी विपरीत परिस्थितियों में हम कैसे आगे जा रहे हैं।’’

उन्होंने तृणमूल नेता डेरेक ओब्रायन द्वारा केंद्र पर पश्चिम बंगाल का मनरेगा का बकाया धन जारी नहीं करने का आरोप लगाये जाने का जिक्र करते हुए कहा कि उन्हें सदन को यह भी बताना चाहिए था कि केंद्र सरकार ने जो जानकारी मांगी थी, उन्हें मुहैया कराने की क्या स्थिति है?

भाजपा सदस्य ने कहा कि आईएमएफ ने कहा है कि भारत की अनुमानित विकास दर 11.5 प्रतिशत होगी, चीन की आठ प्रतिशत, अमेरिका की 5.1 प्रतिशत हो सकती है और ये विश्व अर्थव्यवस्था की अगुवाई करेंगे। उन्होंने कहा, ‘‘...इसका मतलब है कि हम विश्व अर्थव्यवस्था के लीडर बन उभर कर सामने आते जा रहे हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘यहां यह सोचने की जरूरत है कि यह क्यों हुआ? यह इसलिए हुआ कि पिछले नौ साल में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने व्यवस्थित नीतियां बनायी हैं।’’ उन्होंने इस संदर्भ में जनधन खातों में जमा करायी गयी धनराशि का उल्लेख किया।

त्रिवेदी ने मोबाइल फोन की संख्या बढ़ने, मोबाइल फोन सैट का आयात घटने, वाहनों की संख्या बढ़ने का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि अब इस बात की चर्चा होने लगी है कि चीन के बजाय भारत एशिया का विकास इंजन बनकर उभरेगा।

उन्होंने कहा कि पिछले माह दीपावली और छठ पर्व के दौरान देश में चार लाख करोड़ रूपये खर्च किए गए, जिनमें छोटे सामान, घर के सामान, बरतन और सोना-जेवर की खरीद शामिल हैं।

भाजपा सदस्य ने 1991 में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार घटकर एक अरब डॉलर हो जाने और सोने को गिरवी रखे जाने की याद दिलाते हुए कहा, ‘‘एक 91 की दिवाली थी...एक वो भी दिवाली थी जब उजड़ा हुआ गुलशन था और रोता हुआ माली था, और एक यह भी दिवाली है जब महका हुआ गुलशन है और ज्योत निराली है।’’

उन्होंने आईएमएफ सहित कई प्रसिद्ध विदेशी एजेंसियों की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि भारत विकास की राह पर तेजी से आगे बढ़ रहा है जबकि विश्व की अन्य अर्थव्यवस्थाएं नीचे की ओर जा रही हैं।

चर्चा में भाग लेते हुए भाजपा सदस्य सुशील मोदी ने कहा ‘‘अगर विकास का असर दिखाई नहीं देता तो तीन राज्यों में विधानसभा चुनावों में जनादेश भाजपा के पक्ष में कैसे गया? हमें यह भी देखना चाहिए कि देश में दूसरी तिमाही में भारतीय रिजर्व बैंक ने 6.2 प्रतिशत की वृद्धि होने की बात कही थी लेकिन वास्तव में वृद्धि 7.6 प्रतिशत की हुई। यह विकास का नतीजा है।’’

उन्होंने कहा कि दुनिया भर में महंगाई के विरोध में लाखों लोग सड़कों पर उतर आए लेकिन भारत में ऐसा नहीं हुआ क्योंकि ‘‘हमारे यहां महंगाई है और लोगों को महंगाई के कारणों की भी जानकारी है।’’

सुशील मोदी ने कहा कि पेट्रोलियम पदार्थ, खाद्य तेल, उर्वरक, दाल आदि महंगाई के मुख्य कारण हैं और हम इनका आयात करते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘दो साल में पेट्रोल व डीजल के दाम नहीं बढ़े लेकिन विपक्ष शासित राज्यों में पेट्रोल की कीमत भाजपा शासित राज्यों की तुलना में कहीं अधिक है।’’










संबंधित समाचार