बलिया: शराब व्यवसायी को फर्जी तरीके से फंसाने का मामला, दो गिरफ्तार

खबर बलिया के कोतवाली थाना क्षेत्र अंतर्गत कम चौराहे से है जहां पिछले दो मई को जिला आबकारी अधिकारी की अवैध वसूली की लिखित शिकायत जिलाधिकारी बलिया से करनी अंग्रेजी शराब के थोक व्यवसायी छितेश्वर जायसवाल को भारी पड़ गया। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 25 August 2024, 9:22 PM IST
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बलिया:(Ballia) कोतवाली थाना क्षेत्र अंतर्गत कम चौराहे से है जहां पिछले दो मई को जिला आबकारी अधिकारी की अवैध वसूली की लिखित शिकायत जिलाधिकारी (DM) बलिया से करनी अंग्रेजी शराब (Liquor) के थोक व्यवसायी (Bussinessmen) छितेश्वर जायसवाल को भारी पड़ गया।

हम आपको बताते चले की इनके कटरे से दो बैग में 8PM टेट्रा पैक शराब का खाली रेपर बरामद कर स्थानीय व आबकारी पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। वहीं थोक व्यवसायी चिल्लाता रहा कि मुझे फर्जी तरीके से साजिशन फंसाया गया है लेकिन किसी ने नहीं सुनी।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार जमानत पर जेल से छूटने के बाद छितेश्वर जायसवाल ने अपनी बेगुनाही साबित करने के लिये प्रयास करना शुरू किया तो स्थानीय सतनी सराय पुलिस चौकी के सीसीटीवी फुटेज मे वो साक्ष्य मिल गया। जिससे साबित हो गया कि साजिश के तहत दो युवकों के द्वारा पिट्ठू बैग को व्यापारी के मकान मे रखा गया और ठीक आधे घंटे बाद आबकारी व पुलिस की टीम ने पहुंचकर रेपर से भरे बैग को बरामद करने के साथ ही छितेश्वर को बुलाकर गिरफ्तार करके जेल भेज दिया गया।

अपने आप को अपमानित महसूस करते हुए छितेश्वर जायसवाल ने अपने शराब का कारोबार बंद करने के साथ ही मुख्यमंत्री सहित आबकारी मंत्री व उच्चाधिकारियो को लिखित शिकायत कर प्रकरण की बाहरी टीम से जांच कराने की मांग की थीं। 

वही इस पूरे मामले में लखनऊ से आई  टीम ने एक को गिरफ्तार कर लिया। जिसके बयान के आधार पर पुनः एक को गिरफ्तार कर लिया गया। इस प्रकरण का मास्टरमाइंड बताया जा रहा संजय पाण्डेय अभी भी फरार है। 

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार आबकारी निरीक्षक बांसडीह संदीप यादव के मोबाइल को जांच टीम ने पूंछताछ के बाद जब्त कर लिया है। दूसरे आबकारी निरीक्षक के छुट्टी पर होने से उनका बयान दर्ज नहीं हो पाया है।लखनऊ से आयी जांच टीम जिस हिसाब से जांच कर रही है, उससे आबकारी विभाग मे हड़कंप की स्थिति बनी हुई है। हम आप को बताते चले कि छितेश्वर जायसवाल ने जिला आबकारी अधिकारी पर दुकानों से वसूली करने का भी लिखित शिकायत की है।

अब ज़ब आबकारी निरीक्षकों के बयान दर्ज होना शुरू हो गये है और गिरफ्तार अभियुक्तों के द्वारा खुलासे किये गये है (सूत्रों की माने तो) जिला आबकारी अधिकारी से भी जल्द पूंछताछ होने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है।

लखनऊ की जांच टीम के राडार पर स्थानीय जांच अधिकारी भी हो सकते है। 

अब देखना यह है कि किसी को फर्जी मामले मे फंसा कर अपराधी बनाने की कोशिश करने मे शामिल साजिश कर्ताओं को जांच टीम कब उजागर करती है।