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भीलवाड़ा के इंद्रा मार्केट में पुराने कपड़े बेचने वालों की बढ़ती दादागिरी और अतिक्रमण से परेशान व्यापारियों का गुस्सा अब फूट पड़ा है। बार-बार शिकायत के बावजूद कार्रवाई न होने पर आज व्यापारियों ने दोपहर 12 बजे तक बाजार बंद रखा और जोरदार प्रदर्शन किया।
मार्केट में बंद रहीं दुकानें
Bhilwara: इंद्रा मार्केट स्टेशन रोड में व्यापारियों का आक्रोश इस कदर बढ़ गया है कि सोमवार को पूरा बाजार दोपहर 12 बजे तक बंद रहा। लंबे समय से पुराने कपड़े बेचने वालों की दादागिरी, दुकानों के सामने अतिक्रमण और प्रशासन की अनदेखी ने व्यापारियों को सड़क पर उतरने के लिए मजबूर कर दिया है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, व्यापारियों का कहना है कि लगातार शिकायतों के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हुई, उल्टा हालात दिन-प्रतिदिन बदतर होते जा रहे हैं।
मार्केट एसोसिएशन के अनुसार, पुराने कपड़े बेचने वाले दुकानों के ठीक सामने सड़क घेर लेते हैं, जिससे ग्राहकों का रास्ता पूरी तरह अवरुद्ध हो जाता है। कई बार विरोध करने पर ये लोग उल्टा धमकाने लगते हैं। दुकानदारों का कहना है कि ऐसी स्थिति में न व्यापार चल पा रहा है और न ही ग्राहक सुरक्षित महसूस करते हैं। व्यापारी यही कहकर अपना गुस्सा व्यक्त कर रहे हैं कि “अब पानी सर से ऊपर जा चुका है।”
इसी नाराजगी को लेकर आज इंद्रा मार्केट एसोसिएशन के सभी व्यापारी अपने प्रतिष्ठान दोपहर तक बंद रखकर बाजार में इकट्ठा हुए और बाहर मार्च निकालते हुए नगर निगम पहुंचे ताकि आयुक्त को ज्ञापन सौंपा जा सके। लेकिन आयुक्त के सीट पर न होने से व्यापारियों का गुस्सा और बढ़ गया। मौके पर ही सैकड़ों व्यापारियों ने आयुक्त कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया और हनुमान चालीसा का सामूहिक पाठ किया। यह दृश्य देखकर इलाके में तनाव की स्थिति बन गई।
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एसोसिएशन अध्यक्ष गोरधन जेठानी ने मीडिया से बातचीत में कहा, “अब चेतावनी का दौर खत्म हो चुका है। हमें सिर्फ समाधान चाहिए। अतिक्रमण हटेगा, तभी इंद्रा मार्केट सुचारु चलेगा। अगर प्रशासन फिर भी नहीं जागा, तो आंदोलन और बड़ा किया जाएगा।”
व्यापारियों का आरोप है कि पुराने कपड़े वाले न केवल सड़क पर कब्जा करते हैं, बल्कि कई बार दुकानदारों को धमकाते भी हैं। इनकी वजह से आए दिन जाम की स्थिति बनती है, जिससे ग्राहकों और दुकानदारों दोनों को भारी परेशानी होती है। व्यापारियों ने बार-बार यह मुद्दा उठाया, लेकिन कोई भी ठोस कदम न उठाए जाने से उनका विश्वास प्रशासन से उठता जा रहा है।
प्रदर्शन के दौरान कई व्यापारियों ने साफ कहा कि अगर इस बार भी कार्रवाई नहीं हुई तो आंदोलन जिले-व्यापी होगा और इसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन की होगी। उन्होंने चेतावनी दी कि अब इंद्रा मार्केट में “आर-पार की लड़ाई” शुरू हो चुकी है और व्यापारी पीछे हटने वाले नहीं हैं।
स्थानीय लोगों का भी कहना है कि बाजार में अतिक्रमण की स्थिति इतनी खराब हो गई है कि पैदल चलना भी मुश्किल हो चुका है। यदि तुरंत कार्रवाई नहीं हुई तो बाजार की व्यवस्था पूरी तरह चरमरा सकती है। फिलहाल व्यापारियों ने प्रशासन को सीमित समय दिया है। अब देखना यह होगा कि नगर निगम इस बढ़ते विवाद को शांत करने के लिए क्या कदम उठाता है।