

देहरादून का मर्चेंट नेवी कैडेट करणदीप सिंह सिंगापुर-चीन समुद्री मार्ग पर जहाज से रहस्यमयी हालात में लापता हो गया। परिजनों ने बंधक बनाए जाने की आशंका जताई है और मुख्यमंत्री धामी व विदेश मंत्रालय से मदद की गुहार लगाई है।
देहरादून का युवक लापता
Dehradun: उत्तराखंड की राजधानी देहरादून का एक मेधावी युवक और मर्चेंट नेवी कैडेट, करणदीप सिंह राणा, समुद्री सफर के दौरान रहस्यमयी परिस्थितियों में लापता हो गया है। घटना ने न सिर्फ परिवार बल्कि पूरे उत्तराखंड को चिंता में डाल दिया है। परिजन अब सरकार से बेटे की सुरक्षित वापसी की गुहार लगा रहे हैं।
करणदीप सिंह राणा, संजय कॉलोनी पटेलनगर देहरादून निवासी और मूल रूप से रुद्रप्रयाग जिले से ताल्लुक रखते हैं। अगस्त में वह ट्रेनिंग के लिए एक व्यापारी जहाज पर सवार हुआ था, जो सिंगापुर से चीन की ओर रवाना हुआ।
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20 सितंबर को उसने आखिरी बार घर पर बात की। उसी दिन शाम को कंपनी ने सूचना दी कि वह जहाज से लापता हो गया है। जहाज पर उसके सिर्फ एक जूते और कैमरे के मिलने की बात बताई गई।
यह घटना उस समय हुई जब जहाज सिंगापुर से चीन की ओर बढ़ रहा था और श्रीलंका के दक्षिण-पूर्व में करीब 150 नॉटिकल माइल की दूरी पर था। उसके लापता होने के बाद जहाज करीब 96 घंटे तक उसी स्थान पर रुका रहा, लेकिन किसी तरह का सुराग नहीं मिला।
परिजनों का कहना है कि करणदीप को जहाज में ही बंधक बनाकर रखा गया है। उन्हें चालक दल से बात करने की इजाजत नहीं दी जा रही है। इससे शक और गहरा हो गया है। उनका मानना है कि कोई अंदरूनी साजिश हो सकती है।
करणदीप के माता-पिता और परिजन लगातार राज्य सरकार और विदेश मंत्रालय से संपर्क में हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मुलाकात कर बेटे की सुरक्षित वापसी के लिए ठोस कदम उठाने की मांग की है। परिजनों का कहना है कि अगर समय रहते कार्रवाई नहीं हुई, तो उनके बेटे की जान को खतरा हो सकता है।
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करणदीप न केवल एक जिम्मेदार मर्चेंट नेवी कैडेट था, बल्कि एक मेधावी छात्र भी रहा है। इससे पहले भी वह कई समुद्री यात्राएं कर चुका है। उसके अचानक लापता होने ने पूरे मोहल्ले और रिश्तेदारों को चिंता में डाल दिया है।
परिजनों की अब एकमात्र उम्मीद भारत सरकार, मुख्यमंत्री धामी और विदेश मंत्रालय से है। वे चाहते हैं कि करणदीप की गुमशुदगी की निष्पक्ष जांच हो और अगर कोई साजिश है, तो उसका पर्दाफाश हो।