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दिल्ली ब्लास्ट के बाद यूपी सरकार ने राज्यभर के मदरसों की जांच का जिम्मा एटीएस को सौंप दिया है। हमीरपुर समेत 8 जिलों के सभी मदरसों से छात्रों, मौलवियों और प्रबंधन की विस्तृत जानकारी तुरंत उपलब्ध कराने के आदेश दिए गए हैं। एटीएस ने संभावित सुरक्षा और फंडिंग से जुड़े पहलुओं की जांच शुरू कर दी है।
मदरसे की जांच करते अधिकारी
Hamirpur: दिल्ली ब्लास्ट की गूंज अब यूपी तक पहुंच चुकी है और इसके बाद प्रदेश सरकार ने सुरक्षा एजेंसियों को हाई अलर्ट पर डाल दिया है। सरकार ने पूरे राज्य में मदरसों की विस्तृत जांच का जिम्मा एटीएस (Anti-Terrorism Squad) को सौंप दिया है, जिसका दायरा इस बार पहले की तुलना में काफी बड़ा रखा गया है। हमीरपुर जिला भी उन आठ जिलों में शामिल है, जहां एटीएस ने तत्काल प्रभाव से जांच शुरू कर दी है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, एटीएस ने हमीरपुर जिले के अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी समेत विभिन्न प्रशासनिक विभागों को पत्र भेजकर मदरसों में पढ़ने वाले सभी बच्चों, पढ़ाने वाले मौलवियों, स्टाफ और प्रबंधन से जुड़ी विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इसके बाद पूरा विभाग आवश्यक दस्तावेज और पहचान संबंधी रिकॉर्ड एकत्रित करने में जुट गया है।
सूत्रों के अनुसार, यह जांच दिल्ली धमाके से जुड़ी वजहों को ध्यान में रखकर की जा रही है। एटीएस सुरक्षा, फंडिंग, स्टाफ की पहचान और मदरसों की गतिविधियों से जुड़े संवेदनशील पहलुओं की गहन जांच में लगी है, ताकि किसी भी प्रकार की संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत कार्रवाई की जा सके।
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जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी हिमांशु अग्रवाल ने बताया कि, “हमीरपुर जिले में कुल 86 मदरसे संचालित हैं। इनमें से कई मदरसों में हमारी टीम ने जाकर मौलवियों, छात्रों और स्टाफ से जुड़ी पूरी जानकारी लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। एटीएस द्वारा मांगे गए सभी डाटा को समय पर उपलब्ध कराया जाएगा।”
अधिकारियों ने जिला मुख्यालय स्थित गुलशने रहमत मदरसे में भी पहुंचकर यहां पढ़ने वाले बच्चों और मौलवियों से बातचीत कर विस्तृत जानकारी एकत्र की। बच्चों की उपस्थिति, उनकी पहचान, पढ़ाई की प्रकृति और स्टाफ की सभी आधिकारिक जानकारी का रिकॉर्ड तैयार किया गया है।
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मदरसे के मौलवी रजा मोहम्मद ने भी जांच को सकारात्मक कदम बताया। उन्होंने कहा, “अधिकारियों ने यहां आकर सभी जरूरी दस्तावेज देखे और पूछताछ की। हमने जितना भी डाटा मांगा गया, वह सारी जानकारी तुरंत उपलब्ध कराई। मेरा मानना है कि राज्य सरकार का यह कदम सराहनीय है। हर मदरसे में पढ़ने और पढ़ाने वालों का पूरा रिकॉर्ड होना चाहिए और नियमित जांच भी जरूरी है।” फिलहाल, एटीएस की टीम क्षेत्र के अन्य मदरसों में जांच प्रक्रिया को तेज कर रही है और आने वाले दिनों में जिले के सभी 86 मदरसों से पूरा अपडेट मिलने की संभावना है।