

जिले में पुलिस कमिश्नर ने नया प्लान बनाया है। जिसके बाद अब कोई भी व्यक्ति आसानी के साथ FIR नहीं करवा सकता है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
कमिश्नर जे रविंद्र गौड़
गाजियाबाद: अब किसी भी नागरिक को सीधे थाने में जाकर एफआईआर दर्ज कराना संभव नहीं होगा। पुलिस कमिश्नर जे रविंद्र गौड़ ने इस मामले में एक नया आदेश जारी किया है। जिसके तहत अब एफआईआर दर्ज करने से पहले संबंधित व्यक्ति को सीनियर अधिकारियों की अनुमति लेनी होगी। यह कदम पुलिस कमिश्नर ने कानून-व्यवस्था को और बेहतर बनाने और मामलों की निष्पक्षता को सुनिश्चित करने के लिए उठाया है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, नए आदेश के तहत अब कोई भी व्यक्ति थाने में जाकर सीधे एफआईआर दर्ज नहीं करवा सकेगा। यदि किसी मामले में एफआईआर दर्ज करानी हो, तो सबसे पहले संबंधित व्यक्ति को अपर पुलिस आयुक्त या सहायक पुलिस आयुक्त से मंजूरी लेनी होगी। यदि अधिकारियों से अप्रूवल मिल जाता है, तभी एफआईआर दर्ज की जाएगी।
दोनों पक्षों पर लागू होगा नियम
यह नया नियम उन मामलों पर लागू होगा जहां दोनों पक्ष अपनी-अपनी शिकायत लेकर थाने में पहुंचते हैं। पुलिस कमिश्नर ने कहा कि इस कदम का उद्देश्य विवादों के आधार पर मनमानी एफआईआर दर्ज होने की समस्या को रोकना है। उन्होंने बताया कि दोनों पक्षों की शिकायतों के कारण कई बार मामले की सच्चाई तक पहुंचने में कठिनाई होती है। यह कदम मामले की निष्पक्षता और पारदर्शिता को सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है।
कमिश्नर का स्पष्ट निर्देश
कमिश्नर जे रविंद्र गौड़ ने अधिकारियों को चेतावनी दी है कि यदि किसी भी अधिकारी ने इस नए आदेश का पालन नहीं किया और बिना परमिशन के एफआईआर दर्ज कर दी तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। गौरतलब है कि जे रविंद्र गौड़ को उत्तर प्रदेश में ईमानदार और तेजतर्रार अधिकारियों में से एक माना जाता है। उन्हें हाल ही में गाजियाबाद का पुलिस कमिश्नर नियुक्त किया गया है। उनके इस कदम से उम्मीद जताई जा रही है कि गाजियाबाद में अपराधों की रिपोर्टिंग और पुलिस द्वारा मामलों की जांच प्रक्रिया और अधिक पारदर्शी और निष्पक्ष बनेगी।