मेरठ सौरभ हत्याकांड: कोर्ट में चार्जशीट दाखिल, 30 गवाहों के बयान दिलाएंगे मुस्कान और साहिल को सजा

मुस्कान और साहिल ने जिस तरीके से मेरठ सौरभ हत्याकांड को अंजाम दिया, उसको 2000 पन्नों की चार्जशीट में समेट दिया है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की यह रिपोर्ट

Post Published By: Mayank Tawer
Updated : 12 May 2025, 2:31 PM IST
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मेरठ: मेरठ में 18 मार्च 2023 को हुए चर्चित सौरभ राजपूत हत्याकांड की 54 दिन बाद पुलिस ने चार्जशीट दाखिल कर दी है। इस चार्जशीट में 2000 पन्नों की रिपोर्ट शामिल है। जो सौरभ की हत्या की साजिश, सबूत और गवाहों के बयान पर आधारित है। सोमवार को पुलिस के विवेचक रमाकांत पचौरी ने कोर्ट नंबर चार के एडीशनल जज अनुज कुमार ठाकुर के सामने चार्जशीट पेश की।

डाइनामाइट न्यूज संवाददाता के अनुसार, चार्जशीट में यह साफ किया गया है कि सौरभ की हत्या लव अफेयर के कारण हुई थी। साहिल शुक्ला और सौरभ की पत्नी मुस्कान रस्तोगी के बीच अवैध संबंध थे। पुलिस ने स्पष्ट किया कि साहिल ने सौरभ की हत्या तंत्र-मंत्र के कारण नहीं की, जैसा पहले सोचा गया था। इसके बजाय दोनों ने मिलकर सौरभ की हत्या की और शव को ठिकाने लगाने के लिए नीले ड्रम का इस्तेमाल किया। शुरुआत में शव को सूटकेस में पैक कर फेंकने की योजना थी, लेकिन बाद में इसे बदल कर ड्रम में डाला गया। एक हड्डी का टुकड़ा भी सूटकेस में मिला था। जिससे हत्या की पूरी साजिश का पर्दाफाश हुआ।

हत्या का तरीका

18 मार्च को लंदन में तैनात मर्चेंट नेवी अफसर सौरभ राजपूत की हत्या की गई। सौरभ की पत्नी मुस्कान और उसके प्रेमी साहिल ने मिलकर इस जघन्य हत्या को अंजाम दिया। पहले मुस्कान ने सौरभ के खाने में दवा मिलाकर उसे बेहोश किया। जब वह सो रहा था। मुस्कान ने चाकू से हमला कर सौरभ के सीने में पहली चोट मारी। फिर साहिल ने सौरभ के हाथों और सिर को काटकर शव के अन्य हिस्सों को बाथरूम में छिपाया। दोनों ने मिलकर सीमेंट से शव के टुकड़े एक नीले ड्रम में डाले और उसे ठिकाने लगा दिया।

गुमराह करने की कोशिश

हत्या के बाद मुस्कान और साहिल ने सौरभ के परिवार और पड़ोसियों को गुमराह करने के लिए एक रणनीति बनाई। मुस्कान शिमला-मनाली की यात्रा पर चली गई और 13 दिन तक इंस्टाग्राम पर अपनी यात्रा की फोटो और वीडियो पोस्ट करती रही, जिससे लोग समझें कि वह और साहिल छुट्टियां मना रहे हैं।

हत्या का खुलासा और गिरफ्तारी

इस कत्ल का पर्दाफाश तब हुआ जब 18 मार्च को सौरभ का छोटा भाई राहुल अपने भाई के घर पहुंचा। उसने देखा कि मुस्कान साहिल के साथ घूम रही थी और घर में अजीब बदबू आ रही थी। जब राहुल ने मुस्कान से सौरभ के बारे में पूछा तो उसने कोई सही जवाब नहीं दिया। राहुल को शक हुआ और उसने शोर मचाया। जिसके बाद पड़ोसी इकट्ठा हो गए। पुलिस को सूचना दी गई और जांच के दौरान सौरभ की हत्या का पता चला।

पुलिस की जांच

पुलिस ने जांच में पाया कि मुस्कान और साहिल दोनों ही सौरभ की हत्या के दोषी थे। पुलिस ने 30 गवाहों के बयान दर्ज किए। जिनमें मुस्कान के माता-पिता, सौरभ के परिवार के सदस्य और अन्य गवाह शामिल हैं। पुलिस ने चार्जशीट में स्नैपचैट रिकार्ड, मैसेज और कॉल डिटेल्स को भी शामिल किया है, जो इस हत्याकांड के बारे में महत्वपूर्ण साक्ष्य प्रस्तुत करते हैं। इसके अलावा पुलिस ने चार मजदूरों के बयान भी दर्ज किए हैं। जिन्होंने ड्रम काटने में मदद की थी। इन सभी बयानों और साक्ष्यों के आधार पर पुलिस ने चार्जशीट तैयार की और अदालत में पेश की।

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