

जनपद बाराबंकी में नशीले पदार्थों की बढ़ती तस्करी और अवैध बिक्री पर शिकंजा कसने के लिए प्रशासन ने एक बड़ा कदम उठाया है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
अवैध बिक्री पर शिकंजा
बाराबंकी : जनपद बाराबंकी में नशीले पदार्थों की बढ़ती तस्करी और अवैध बिक्री पर शिकंजा कसने के लिए प्रशासन ने एक बड़ा कदम उठाया है। मंगलवार को जिलाधिकारी शशांक त्रिपाठी और पुलिस अधीक्षक अर्पित विजयवर्गीय की संयुक्त अध्यक्षता में नारकोटिक्स नियंत्रण को लेकर एक उच्च स्तरीय बैठक की गई। यह बैठक वर्चुअल ज़ूम माध्यम से आयोजित हुई, जिसमें नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो, कस्टम विभाग, आबकारी विभाग, एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स और अन्य संबंधित विभागों के अधिकारी शामिल हुए।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक, बैठक की शुरुआत में डीएम ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि नशा केवल स्वास्थ्य को ही नहीं, समाज को भी धीरे-धीरे खोखला कर रहा है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि प्रतिबंधित ड्रग्स की तस्करी व बिक्री की पहचान कर कठोर कार्रवाई की जाए। आबकारी विभाग को विशेष निर्देश दिए गए कि जिले में अवैध शराब और अन्य मादक पदार्थों की नियमित जांच की जाए और त्वरित रूप से कार्रवाई सुनिश्चित हो।
जिलाधिकारी ने समाज कल्याण विभाग को भी सक्रिय भूमिका निभाने के लिए कहा। उन्होंने निर्देश दिया कि स्कूलों और कॉलेजों में छात्र-छात्राओं के बीच नशे के दुष्प्रभावों को लेकर जनजागरूकता अभियान चलाए जाएं ताकि युवा पीढ़ी इस दलदल में फंसने से बच सके।
पुलिस अधीक्षक अर्पित विजयवर्गीय ने बैठक में बताया कि सीमावर्ती क्षेत्रों में विशेष सतर्कता बरती जा रही है और किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत कार्रवाई की जा रही है। उन्होंने कहा कि अंतरविभागीय समन्वय से ही इस चुनौती को हराया जा सकता है।
बैठक के अंत में सभी अधिकारियों ने अब तक की कार्रवाई की रिपोर्ट दी और आगामी रणनीतियों पर विचार साझा किया। जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिए कि नशे के खिलाफ 'जीरो टॉलरेंस नीति' के तहत काम किया जाए और बाराबंकी को नशामुक्त बनाने के लिए सामूहिक प्रयास किए जाएं।
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