Uttar Pradesh: वृन्दावन में दूषित जल का प्रकोप, दो महिलाओं की मौत, 24 अस्पताल में भर्ती

डीएन ब्यूरो

मथुरा जिले में कथित तौर पर दूषित जल के प्रयोग से वृन्दावन के एक वृद्धाश्रम में रह रहीं दो महिलाओं की मौत हो गयी और करीब 24 को बीमार हालत में सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पढ़िए पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर:

कई लोगअस्पताल में भर्ती
कई लोगअस्पताल में भर्ती


मथुरा: मथुरा जिले में कथित तौर पर दूषित जल के प्रयोग से वृन्दावन के एक वृद्धाश्रम में रह रहीं दो महिलाओं की मौत हो गयी और करीब 24 को बीमार हालत में सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार स्वास्थ्य विभाग की रैपिड रिस्पांस टीम (आरआरटी) प्रभारी डॉ. भूदेव प्रसाद ने बताया कि वृन्दावन के नगला रामताल क्षेत्र स्थित कृष्णा कुटीर आश्रय स्थल में रहने वाली वृद्ध एवं विधवा महिलाओं में से कई को दो दिन से उल्टी, दस्त आदि परेशानियां हो रही थी।

उन्होंने बताया कि शुक्रवार की रात एवं शनिवार को दो महिलाओं की मौत होने की सूचना मिली थी जिनकी पहचान मध्य प्रदेश निवासी कौशल्या (70) व सावित्री (65) के रूप में हुई है।

इस घटना की जानकारी मिलने के बाद मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. अजय कुमार वर्मा और आरआरटी प्रभारी डॉ. भूदेव प्रसाद चिकित्सकों की एक टीम के साथ आश्रय स्थल पहुंचे और मुआयना किया तो ज्ञात हुआ कि उन्हें यह सब शिकायतें वहां आपूर्ति किये जाने वाले पानी के प्रयोग से शुरू हुईं।

मुख्य चिकित्साधिकारी ने पत्रकारों को बताया कि इन महिलाओं की मृत्यु पेयजल संक्रमण के चलते हुई। उन्होंने कहा कि आश्रम में करीब ढाई सौ महिलाएं रहती हैं और यदि उनके बीमार पड़ने की जानकारी समय से दे दी गई होती, तो यह स्थिति नहीं बनती। रविवार से लगातार निगरानी एवं उपचार जारी है।

उन्होंने बताया कि करीब 24 वृद्धाओं की हालत ज्यादा खराब पाए जाने पर उन्हें वृन्दावन में ही स्थित अस्पताल में भर्ती करा दिया गया है। अन्य सभी बीमार महिलाओं का लगातार आश्रम में ही उपचार किया जा रहा है। मुख्य चिकित्साधिकारी ने बताया कि राजस्थान की एक अन्य महिला जसकंवर (70) के बारे में भी यह कहा गया था कि उसकी मृत्यु भी अन्य दो महिलाओं की तरह हुई है, लेकिन छानबीन में पता चला कि वह पहले से ही कैंसर से पीड़ित थी।

उन्होंने बताया कि जिलाधिकारी के निर्देश पर खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ने आश्रम के भोजन, खान-पान की वस्तुओं एवं पानी के नमूने एकत्र किए हैं। उनकी जांच के पश्चात आधिकारिक रूप से स्पष्ट हो पाएगा कि मृत्यु का सही कारण क्या है। वैसे यह मामला जल संक्रमण का ही लगता है।










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