

कांग्रेस की विद्यार्थी इकाई भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन (एनएसयूआई) के राष्ट्रीय प्रभारी कन्हैया कुमार ने मध्यप्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा पर रविवार को निशाना साधा। उन्होंने कहा कि राज्य में महिलाओं पर कथित रूप से सबसे ज्यादा अत्याचार होते हैं, लेकिन गृह मंत्री की दिलचस्पी यह देखने में रहती है कि अभिनेत्री दीपिका पादुकोण फिल्मों में कैसे कपड़े पहनती हैं। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर
इंदौर: कांग्रेस की विद्यार्थी इकाई भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन (एनएसयूआई) के राष्ट्रीय प्रभारी कन्हैया कुमार ने मध्यप्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा पर रविवार को निशाना साधा। उन्होंने कहा कि राज्य में महिलाओं पर कथित रूप से सबसे ज्यादा अत्याचार होते हैं, लेकिन गृह मंत्री की दिलचस्पी यह देखने में रहती है कि अभिनेत्री दीपिका पादुकोण फिल्मों में कैसे कपड़े पहनती हैं।
मिश्रा ने फिल्म ‘‘पठान’’ के 25 जनवरी को परदे पर उतरने से पहले इस उसके शीर्षक के साथ ही उसके एक गाने 'बेशरम रंग' में शाहरुख खान और दीपिका पादुकोण के कपड़ों के रंगों पर गहरी आपत्ति जताई थी। गृह मंत्री ने चेतावनी भी दी थी कि अगर निर्माता-निर्देशक ने इस फिल्म में ‘‘सुधार’’ नहीं किए, तो राज्य सरकार विचार करेगी कि फिल्म को प्रदर्शन की अनुमति दी जाए या नहीं।
कुमार ने जनजातीय समुदाय के विद्यार्थियों और बेरोजगार युवाओं की ‘‘आदिवासी युवा महापंचायत’’ में कहा,‘‘मिश्रा को फिल्मों में बड़ी रुचि है। वह अक्सर देखते रहते हैं कि दीपिका पादुकोण (फिल्मों में) कैसे कपड़े पहनती हैं। मध्यप्रदेश में महिलाओं और आदिवासियों के खिलाफ सबसे ज्यादा अत्याचार हो रहे हैं। लिहाजा बेहतर होगा कि गृह मंत्री पहले अपना राज्य चला लें।’’
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष ने दावा किया कि राज्य में विधानसभा चुनाव के कुछ महीने पहले पेश ‘‘लाड़ली बहना योजना’’ के बहाने महिलाओं को ठगा जा रहा है।
उन्होंने कहा,‘‘वे (भाजपा नेता) कह रहे हैं कि इस योजना की रकम को बढ़ाकर 2,000 रुपये किया जाएगा। वे 2,000 रुपये अपने पास रखें और बताएं कि 350 रुपये का रसोई गैस सिलेंडर 1,400 रुपये में क्यों मिल रहा है?’’
कुमार ने दक्षिणपंथी संगठनों पर हमला बोलते हुए कहा कि आदिवासियों की मूल पहचान बदलने के लिए ‘‘आदिवासी’’ को ‘‘वनवासी’’ बताने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने कटाक्ष किया,‘‘अगर वन में रहने वाले वनवासी हैं, तो क्या फ्लैट में रहने वाले लोगों को फ्लैटवासी कहना शुरू कर दिया जाए।’’