Jagdeep Dhankhar wins Vice-Presidential Poll: जगदीप धनखड़ देश के नये उपराष्ट्रपति निर्वाचित, जानिये उनके बारे में

डीएन ब्यूरो

देश के नया उपराष्ट्रपति मिल गया है। एनडीए उम्मीदवार जगदीप धनखड़ देश के नये उपराष्ट्रपति निर्वाचित किये गये हैं। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

जगदीप धनखड़ देश के नये उपराष्ट्रपति
जगदीप धनखड़ देश के नये उपराष्ट्रपति


नई दिल्ली: देश के नया उपराष्ट्रपति मिल गया है। एनडीए उम्मीदवार जगदीप धनखड़ देश के नये उपराष्ट्रपति निर्वाचित किये गये हैं। उपराष्ट्रपति चुनाव में 725 सांसदो ने मतदान किया। जगदीप धनखड़ के पक्ष में 725 में से 528 वोट पड़े। 15 वोट रद्द किये गये। 

जगदीप धनखड़ ेक उपराष्ट्रपति बनने पर उनके बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है।

वे पिछले 33 वर्षों से राजनीति में सक्रिय हैं। उपराष्ट्रपति चुनाव लड़ने से पहले तक वह पश्चिम बंगाल के उपराज्यपाल रहे।

विपक्ष की उम्मीदवार के रूप में उपराष्ट्रपति का चुनाव लड़ रही कांग्रेस की वरिष्ठ नेता, पूर्व राज्यपाल तथा पूर्व केंद्रीय मंत्री मार्गरेट अल्वा को हार का सामना करना पड़ा।

उपराष्ट्रपति चुनाव में वोटों की गिनती के बाद परिणाम घोषित

जानकारी के मुताबिक उपराष्ट्रपति चुनाव में कुल 725 सांसदों ने मतदान किया। भाजपा के दो सांसद स्वास्थ्य संंबंधी परेशानियों के कारण वोट नहीं डाल सके। मतदान न कर सकने वाले भाजपा सांसदों में सनी देओल और संजय धोतरे शामिल हैं। 

टीएमसी ने इस चुनाव में मतदान से दूर रहने का फैसला किया था लेकिन इसके बावजूद भी टीएमसी के दो सांसदों ने पार्टी का निर्णय नहीं माना और मतदान किया। टीएमसी के 34 सांसदों ने वोट नहीं डाला। समाजवादी पार्टी के दो और शिवसेना के दो और बहुजन समाज पार्टी के एक सांसद ने भी अलग-अलग कारणों से मतदान में भाग नहीं लिया।

चुनाव के लिए संसद भवन में शनिवार सुबह 10 बजे मतदान शुरू हुआ। शाम को मतदान  खत्म होते की वोटों की गिनती के बाद चुनाव परिणाम की घोषणा की गई। 

उपराष्ट्रपति चुनाव के निर्वाचक मंडल में संसद के दोनों सदनों यानी लोक सभा और राज्य सभा सांसद शामिल होते हैं। तृणमूल कांग्रेस ने उपराष्ट्रपति चुनाव के मतदान में अनुपस्थित रहने का फैसला किया।

जानिये नये उपराष्ट्रपति के बारे में

देश के 14वें उपराष्ट्रपति बने 71 वर्षीय जगदीप धनखड़ राजस्थान के झुंझुनू से आते हैं और वे एक जाट परिवार से ताल्लुक रखते हैं। वे राजस्थान उच्च न्यायालय के एक प्रमुख वकील भी रह चुके हैं। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में भी प्रैक्टिस की।

जनता दल में शामिल होने के बाद, उन्होंने 1989 में झुंझुनू से लोकसभा चुनाव जीता और पहली बार सांसद बने। वह चंद्रशेखर सरकार (1990-91) में संसदीय कार्य राज्य मंत्री रहे। बाद में वह कांग्रेस में शामिल हो गए और 1993 में अजमेर की किशनगढ़ विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा और 1998 तक विधायक रहे।

धनखड़ 2003 में भाजपा में शामिल हुए। जुलाई 2019 में उन्हें पश्चिम बंगाल का राज्यपाल नियुक्त किया गया। राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) ने उन्हें उपराष्ट्रपति चुनाव का उम्मीदवार घोषित किया, जिसमें आज वे विजयी रहे।










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