

नये कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले 6 दिनों से दिल्ली सीमा पर आंदोलन कर रहे किसानों से बातचीत के लिये अब केंद्र सरकार तैयार हो गयी है। इस प्रस्तावित बातचीत को लेकर पढिये डाइनामाइट न्यूज पर ताजा अपडेट
नई दिल्ली: नये कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले 6 दिनों से दिल्ली बॉर्डर्स पर आंदोलन कर रहे किसानों से बातचीत के लिये अब केंद्र सरकार तैयार हो गयी है। 26 नवंबर से प्रदर्शन कर रहे किसान संगठनों से सरकार आज दोपहर तीन बजे बातचीत करेगी। किसानों और सरकार के बीच यह बातचीत दिल्ली के विज्ञान भवन में होगी। सरकार की ओर से गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह इस बातचीत की अगुवाई करेंगे।
किसानों के साथ होने वाली इस अहम बैठक में अमित शाह और राजनाथ सिंह के अलाव कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर समेत अन्य मंत्री भी इस बातचीत में शामिल हो सकते हैं। इनके अलावा कृषि मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा भी इस नये कानून को लेकर किसानों से विस्तार से बातचीत की जायेगी।
कृषि मंत्रालय की ओर से किसान संगठनों को बातचीत के न्यौते के लिये जो चिट्ठी लिखी गई है, उसमें कहा गया है कि सरकार ने पहले भी आपसे दो बार बातचीत की है। बातचीत के उसी क्रम को आगे बढ़ाते हुए एक दिसंबर को दोपहर तीन बजे आगे की बात होगी। इस बातचीत में जो संगठन पहले शामिल हुए थे, वे या उनके प्रतिनिधि ही दोबारा भी शामिल हों।
हालांकि आंदोलन कर रहे कुछ किसान संगठनों में अब भी सरकार द्वारा दिये गये बातचीत के न्यौते को लेकर भारी नाराजगी है। नाराज संगठनों का कहना है कि सरकार द्वारा बुलायी गयी इस अहम बैठक में उन्हें बातचीत के लिये नहीं बुलाया गया है।
पंजाब किसान संघर्ष कमेटी के सुखविंदर का कहना है कि देश में आंदोलन से जुड़े किसानों के करीब 500 से अधिक संगठन हैं, लेकिन सरकार ने केवल 32 संगठनों के नेताओं को बातचीत का न्योता दिया है। ऐसे में अगर सरकार सभी संगठनों को नहीं बुलाती है, तो हम नहीं जाएंगे।
दूसरी तरफ किसानों का यह भी कहना है कि MSP और मंडी के मुद्दे पर उन्हें सरकार से लिखित गारंटी चाहिए। किसानों की विभिन्न तरह की मांगों के बीच उनके साथ सरकार की बातचीत का क्या हल निकलता है, इस सवाल का जबाव अब आज शाम तक ही मिल सकता है।