

ऑपरेशन BAM ने यह साबित कर दिया कि बलूचिस्तान लिबरेशन फ्रंट (BLF) अपने आक्रमणों और रणनीतिक हमलों के द्वारा पाकिस्तानी सेना को चुनौती दे रहा है। पाकिस्तान के खिलाफ इस तीव्र हमले ने न केवल सैनिक ठिकानों को निशाना बनाया, बल्कि पाकिस्तानी खुफिया एजेंसियों के खिलाफ भी एक बड़ा संदेश दिया है।
प्रतीकात्मक तस्वीर (सोर्स- गूगल)
New Delhi: पाकिस्तानी सेना के खिलाफ बलूचिस्तान लिबरेशन फ्रंट (BLF) द्वारा चलाए गए ऑपरेशन BAM का समापन हो गया है। यह ऑपरेशन 9 जुलाई से 11 जुलाई तक तीन दिनों तक चला। BLF के मुताबिक, इस दौरान उसने पाकिस्तानी सेना के 84 ठिकानों पर हमला किया, जिनमें IED ब्लास्ट भी शामिल थे।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता को मिली जानकारी के अनुसार, इन हमलों में पाकिस्तानी सेना के कम से कम 50 जवानों के मारे जाने की खबर है, जबकि 51 से अधिक गंभीर रूप से घायल हुए हैं।
पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों को भी निशाना बनाया
BLF के मुताबिक, ऑपरेशन BAM के दौरान उसके हमले में पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियां, जैसे मिलिट्री इंटेलिजेंस (MI) और ISI के 9 एजेंटों को भी मार गिराया गया। इस हमले में BLF ने पाकिस्तान के संचार तंत्र को नुकसान पहुंचाते हुए सात मोबाइल टावरों और उनकी मशीनरी को आग के हवाले कर दिया। इसके अलावा, बलोच विद्रोहियों ने 22 अस्थायी चेकपोस्ट स्थापित कर पाकिस्तानी सेना की गतिविधियों को बाधित किया।
72 घंटे तक चला ऑपरेशन BAM
BLF के अनुसार, ऑपरेशन BAM के 72 घंटे के दौरान उन्होंने पाकिस्तान के खनिज ले जाने वाले 24 ट्रकों और गैस टैंकरों को भी नष्ट किया। साथ ही, पाकिस्तान की निगरानी प्रणाली को नुकसान पहुंचाते हुए पांच से अधिक निगरानी ड्रोन और क्वाडकॉप्टर को मार गिराया। BLF के मुताबिक, इसके 84 हमलों में से 30 से अधिक सीधे पाकिस्तानी सेना और सीमा सुरक्षाबलों पर किए गए थे। इसके अलावा, दो हमले पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों MI और ISI पर किए गए और चार हमले घात लगाकर किए गए।
बलूचिस्तान के विभिन्न इलाकों में हमले
BLF ने इस ऑपरेशन के दौरान बलूचिस्तान के कई रणनीतिक इलाकों में हमले किए। जिनमें मकरान, रेखशान, कोलवा, सरावन, झालावान, कोह-ए-सुलेमान, बेला और कच्छी जैसे क्षेत्र शामिल थे। BLF ने दावा किया कि इन इलाकों में पाकिस्तानी सेना और सरकार ने बलूचिस्तान की संपत्ति का अत्यधिक शोषण किया है और इसी कारण विद्रोहियों ने इस ऑपरेशन को अंजाम दिया।
बलूचिस्तान की संपत्ति पर कब्जा नहीं करने देंगे: BLF का बयान
BLF ने अपने आधिकारिक बयान में कहा कि अब पाकिस्तान बलूचिस्तान की संपत्ति को लूटता नहीं रह सकता। बलूच विद्रोहियों ने यह भी ऐलान किया कि पंजाबी हुकूमत और पाकिस्तानी सेना अब बलूच राष्ट्र को दमन से दबा नहीं सकती। BLF ने पाकिस्तानी सेना को औपनिवेशिक शोषण की प्रतीक करार देते हुए कहा कि बलूच जनता अब झूठे लोकतंत्र, इस्लामी भाईचारे के खोखले नारों और विभाजनकारी चालों से बहकने वाली नहीं है।