हिंदी
सोनभद्र पुलिस ने रविवार को साइबर फ्रॉड गैंग का पर्दाफाश किया। पुलिस ने 4 अभियुक्तों को गिरफ्तार कर जेल भेजा है। यह आरोपी QR कोड स्कैन कर धोखाधड़ी के माध्यम से लोगों से रुपए ठगने का काम करते थे। पुलिस ने इनसे बड़ी मात्रा में सामान बरामद किया है। पुलिस मामले का जांच में जुटी है।
सोनभद्र में चार साइबर ठग गिरफ्तार
Sonbhadra: सोनभद्र पुलिस ने रविवार को साइबर धोखाधड़ी के एक गिरोह का पर्दाफाश किया है। थाना पिपरी और साइबर क्राइम पुलिस थाना की संयुक्त कार्रवाई में पुलिस ने चार साइबर ठगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है।
पुलिस ने गिरफ्तारी के समय उनके कब्जे से चार एंड्रॉइड मोबाइल फोन और दो मोटरसाइकिलें बरामद की गईं। पुलिस ने बताया कि ये अभियुक्त क्यूआर कोड स्कैन के माध्यम से लोगों से धोखाधड़ी कर धन ठग रहे थे।
यह मामला रेनुकुट, पिपरी निवासी अजय कुमार पुत्र संकठा प्रसाद चौरसिया की शिकायत से शुरू हुआ। उन्होंने अपनी तहरीर में बताया कि अज्ञात व्यक्तियों ने उनकी दुकान पर लगे क्यूआर कोड का दुरुपयोग कर धोखाधड़ी का पैसा मंगवाया। इसके बाद वादी से नकद पैसे लिए और उनके खाते में ₹5200 धोखाधड़ी का पैसा जमा कर दिया, जिससे उनका खाता अवरुद्ध हो गया।
साइबर फ्रॉड गैंग के चार गिरफ्तार
इस शिकायत के आधार पर थाना पिपरी में मुकदमा अपराध संख्या 217/2025, धारा 318(4), 336(3) BNS और 66D IT Act के तहत अभियोग पंजीकृत किया गया।
Gorakhpur News: करेंट की चपेट में आने से युवक की मौत, परिवार पर टूटा दुखों का पहाड़
पुलिस अधीक्षक सोनभद्र अभिषेक वर्मा के निर्देश तथा अपर पुलिस अधीक्षक (मुख्यालय) एवं क्षेत्राधिकारी पिपरी के पर्यवेक्षण में जांच शुरू की गई। थाना पिपरी और साइबर क्राइम पुलिस थाना की संयुक्त टीम ने तकनीकी साक्ष्यों और सर्विलांस की मदद से अभियुक्तों की तलाश की।
1 नवंबर 2025 की रात को टीम ने इन चारों अभियुक्तों को थाना पिपरी क्षेत्र के मुर्धवा मोड़ से गिरफ्तार कर लिया। जानकारी के अनुसार गिरफ्तार अभियुक्त लखनऊ के गोयल इंस्टीट्यूट और महर्षि यूनिवर्सिटी से बी.बी.ए. और डेटा एनालिसिस का कोर्स कर रहे हैं।
VIDEO: बुलंदशहर में पानी से भरे गड्ढे ने छीनी दो नन्हीं जिंदगियां; जानें फिर क्या हुआ
पुलिस ने बताया कि ये शातिर ठग हैं और इन्होंने अन्य व्यक्तियों से भी धोखाधड़ी की है, जिनके खिलाफ अन्य शिकायतें भी दर्ज हैं। ये जनसेवा केंद्रों और वित्तीय संस्थानों से संपर्क कर उनके क्यूआर कोड प्राप्त करते थे और उन्हीं क्यूआर कोड पर धोखाधड़ी का पैसा मंगवाकर कमीशन के रूप में अलग से धन प्राप्त करते थे।
एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि जिले में साइबर अपराधों को रोकने के लिए एक विशेष अभियान चलाया जा रहा है। एसपी ने नागरिकों से अपील की है कि वे किसी भी अनजान क्यूआर कोड या लिंक को स्कैन न करें और किसी भी संदिग्ध लेनदेन की सूचना तुरंत पुलिस या साइबर हेल्पलाइन 1930 पर दें।