बुलंदशहर में असामाजिक तत्वों की करतूत: महाराणा प्रताप की मूर्ति को किया खंडित, क्षत्रिय समाज में गहरा रोष

यह केवल एक मूर्ति का अपमान नहीं है, बल्कि यह पूरे भारतवर्ष के स्वाभिमान और सम्मान का अपमान है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

Post Published By: Mayank Tawer
Updated : 5 June 2025, 4:32 PM IST
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बुलंदशहर: उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले में असामाजिक तत्वों द्वारा महाराणा प्रताप की प्रतिमा को क्षतिग्रस्त करने की घटना ने पूरे क्षेत्र में तनाव का माहौल पैदा कर दिया है। इस घटना से क्षत्रिय समाज में गुस्सा और आक्रोश फैल गया है। यह घटना थाना खुर्जा नगर कोतवाली क्षेत्र के एक प्रमुख चौराहे पर घटित हुई। जहां महाराणा प्रताप की मूर्ति को अराजक तत्वों ने खंडित कर दिया।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, महाराणा प्रताप की मूर्ति को क्षतिग्रस्त करने की खबर फैलते ही क्षत्रिय समाज के सैकड़ों लोग मौके पर इकट्ठा हो गए। वे इस अपमानजनक घटना से गहरे आहत हुए और चौराहे पर आक्रोशित होकर जाम लगा दिया। उनका कहना था कि यह केवल एक मूर्ति का अपमान नहीं है, बल्कि यह पूरे भारतवर्ष के स्वाभिमान और सम्मान का अपमान है। स्थानीय लोग और समाज के लोग दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे थे।

पुलिस ने किया गर्म माहौल को शांत

स्थानीय पुलिस प्रशासन ने स्थिति को संभालने के लिए सक्रियता दिखाई और थाना खुर्जा नगर कोतवाली के प्रभारी मौके पर पहुंचे। उन्होंने आक्रोशित प्रदर्शनकारियों से बातचीत की और समझाने-बुझाने के बाद जाम को खुलवाया। पुलिस ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई का आश्वासन दिया और आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी की बात कही। पुलिस और प्रशासन ने लोगों को भरोसा दिलाया है कि वे मामले की गंभीरता से जांच करेंगे। दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे। इसके अलावा सुरक्षा के मद्देनजर इलाके में पुलिस बल की तैनाती बढ़ा दी गई है।

क्षत्रिय समाज में गुस्सा

क्षत्रिय समाज के लोग इस घटना को अपनी नस्ल और इतिहास का अपमान मानते हैं। उन्होंने कहा कि महाराणा प्रताप का नाम सिर्फ एक व्यक्ति से जुड़ा नहीं है। बल्कि यह भारतीय संस्कृति, शौर्य और स्वाभिमान का प्रतीक है। समाज के नेताओं ने प्रशासन से मांग की है कि जल्द से जल्द आरोपियों की गिरफ्तारी की जाए और उन्हें कड़ी सजा दी जाए।

समाजसेवी रघु ठाकुर का बयान

इस दौरान समाजसेवी रघु ठाकुर ने कहा, "यह हमारे सम्मान और इतिहास का अपमान है। महाराणा प्रताप का नाम भारतीय इतिहास में स्वाभिमान और संघर्ष का प्रतीक है। हम इस कृत्य को बर्दाश्त नहीं करेंगे और हम प्रशासन से मांग करते हैं कि जल्दी से जल्दी दोषियों को गिरफ्तार किया जाए। इस घिनौने कृत्य के लिए सजा दी जाए।

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