

जलेसर से बड़ी खबर है, नगला गडरियाँ गांव की सड़कों पर भरा गंदा पानी, ग्रामीणों की जिंदगी बनी नरक। गंदगी, जलभराव और प्रशासनिक लापरवाही से त्रस्त लोग बोले— अब नहीं सहेंगे,
मुख्य सड़क बनी तालाब,
एटा: उत्तर प्रदेश के एटा जनपद की जलेसर तहसील के टिमरुआं पंचायत के उपग्राम नगला गडरियाँ की तस्वीरें सरकार के विकास के दावों की पोल खोल रही हैं। गांव की मुख्य सड़क तालाब में तब्दील हो चुकी है।
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता के मुताबिक, चारों ओर गंदगी का आलम है, गांव की गलियां भीषण बदबू और कीचड़ से अटी पड़ी हैं।गर्भवती महिलाएं, बच्चे, बुजुर्ग, और छात्र-छात्राएं तक इस गंदे पानी से होकर स्कूल-कॉलेज और अस्पताल जाने को मजबूर हैं।
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प्रधान विकास कार्यों से मुंह मोड़े
ग्रामीणों का कहना है की "चुनाव में पैर छूने आता था प्रधान, अब गंदगी की बात करो तो गायब हो जाता है।वही बच्चो ने कहां हर रोज इसी पानी से होकर स्कूल जाना पड़ता है, कई बार गिर चुके हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि प्रधान विकास कार्यों से मुंह मोड़े हुए हैं और प्रशासन भी सिर्फ आश्वासन तक सीमित है। महिलाओं ने यहां तक कह दिया कि अगर जल्द समाधान नहीं हुआ तो प्रधान को जवाब जरूर देंगे।
10 दिन बीतने के बाद भी कोई समाधान नहीं
ग्रामीणों ने संपूर्ण समाधान दिवस में भी शिकायत दर्ज कराई, लेकिन 10 दिन बीतने के बाद भी कोई समाधान नहीं हो पाया।प्रधान की गैरमौजूदगी, सफाई कर्मचारियों की लापरवाही और प्रशासनिक हीला-हवाली ने नगला गडरियाँ गांव को नारकीय हालात में पहुंचा दिया है। अब देखना होगा कि सरकारी टीम की कार्यवाही सिर्फ खानापूर्ति साबित होती है या वाकई कुछ बदलेगा।
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10-15 दिन में समस्या हल
जानकारी के मुताबिक, खंड विकास अधिकारी पीएस आनंद ने कहां गांव का निरीक्षण किया जाएगा, बारिश का समय है, 10-15 दिन में समस्या हल कर दी जाएगी। फिलहाल जल निकासी कराई जाएगी।"वहीं एसडीएम भावना विमल ने कहां की मामला संज्ञान में है, टीम गठित कर दी गई है। नायब तहसीलदार और बीडीओ को भेजा गया है, जल्द समाधान कराया जाएगा।
नगला गडरियाँ गांव की सड़कों पर भरा गंदा पानी, ग्रामीणों की जिंदगी बनी नरक। गंदगी, जलभराव और प्रशासनिक लापरवाही से त्रस्त लोग बोले— अब नहीं सहेंगे, विकास चाहिए!