

लखनऊ में एक दिल दहला देने वाली घटना में ऑनलाइन गेमिंग की लत में डूबे युवक ने अपनी मां की हत्या कर दी। 50 लाख के कर्ज में फंसे बेटे ने गहनों की चोरी करते हुए मां को देख लिया और उन्हें मार डाला।
आरोपी का फोटो
Lucknow: ऑनलाइन गेमिंग और सट्टेबाजी की लत ने एक बेटे को इस कदर अंधा कर दिया कि उसने अपनी मां को ही बेरहमी से मौत के घाट उतार दिया। 20 वर्षीय निखिल यादव उर्फ गोलू ने 45 वर्षीय मां रेनू यादव की हत्या सिर्फ इसलिए कर दी क्योंकि वह उसे घर के जेवरात चोरी करते हुए देख चुकी थी। पुलिस पूछताछ में खुलासा हुआ है कि निखिल ऑनलाइन गेमिंग में 50 लाख रुपये हार चुका था और कर्ज चुका पाने की हताशा में उसने यह खौफनाक कदम उठाया।
खौफनाक साजिश का पर्दाफाश
तीन दिन तक पुलिस को गुमराह करता रहा निखिल आखिरकार सोमवार को पुलिस के हत्थे चढ़ ही गया। डीसीपी दक्षिणी निपुण अग्रवाल ने बताया कि पूछताछ में निखिल ने अपना अपराध स्वीकार करते हुए पूरा घटनाक्रम बताया, जिससे हर कोई सन्न रह गया।
निखिल ने बताया कि उसने ऑनलाइन गेमिंग में भारी रकम हारने के बाद कई ऐप्स से लोन लिया और धीरे-धीरे कर्ज के जाल में फंसता चला गया। जब पैसे चुकाने के लिए कोई रास्ता नहीं सूझा तो उसने मां के गहने चोरी करने की योजना बनाई।
हत्या की रात क्या हुआ?
घटना 3 अक्टूबर की रात की है। निखिल घर में गहने चोरी कर रहा था, तभी उसकी मां रेनू कमरे में आ गई। वह समझ गया कि उसकी चोरी पकड़ी गई है। तभी उसने घर में रखे पेंचकस से मां की गर्दन और सीने पर 7 बार वार किए। इसके बाद भी जब उसकी मां की जान नहीं गई तो उसने गैस सिलिंडर से उनके सिर पर प्रहार कर हत्या कर दी।
झूठी कहानी से सबको गुमराह करने की कोशिश
हत्या के बाद निखिल ने एक चालाकी भरी साजिश रची। उसने अपने मामा और दोस्त को फोन कर बताया कि वह घर पहुंचा तो कुछ हथियारबंद लोग उसकी मां पर हमला कर रहे थे। उसने दावा किया कि उसे भी धमकी दी गई और वह हमलावरों का पीछा करते हुए कहीं निकल गया है। इसके बाद उसने अपना मोबाइल बंद कर दिया, जिससे उस पर शक न हो।
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कैसे हुई गिरफ़्तारी
निखिल मां के गहने बैग में भरकर चारबाग रेलवे स्टेशन पहुंचा, जहां उसकी मुलाकात फतेहपुर के अल्लीपुर निवासी मोनू से हुई। मोनू को उसने बताया कि उसके माता-पिता की मौत हो गई है और उसे नौकरी की जरूरत है। मोनू ने उस पर भरोसा किया और त्रिवेणी एक्सप्रेस से अपने गांव ले गया। पुलिस ने ट्रैकिंग के जरिए निखिल को मोनू के घर से गिरफ्तार कर लिया।
अब जांच के घेरे में ऑनलाइन गेमिंग नेटवर्क
डीसीपी अग्रवाल ने बताया कि पुलिस यह पता लगा रही है कि निखिल को ऑनलाइन गेमिंग की लत किसने और कैसे लगाई। कौन-कौन लोग उसे सट्टेबाजी या ऐप्स के जरिए लोन दे रहे थे, इसकी जांच की जा रही है। पुलिस ने कुछ मोबाइल ऐप्स और ऑनलाइन लेन-देन का डेटा जब्त कर लिया है, जिनकी जांच साइबर सेल कर रही है।